राजस्थान प्रकरण को लेकर शांता ने केंद्र से की दलबदल कानून को अतिशीघ्र बदलने की मांग
धर्मशाला, 01 अगस्त (हि.स.)। भारतीय जनता पार्टी के वरिष्ठ नेता एवं पूर्व मुख्यमंत्री शांता कुमार ने राजस्थान में चल रहे राजनीतिक प्रकरण को दुर्भायपूर्ण करार दिया है। उन्होंने केन्द्र सरकार से मांग की कि देश में दलबदल कानून को अतिशीघ्र बदला जाए। एक पार्टी के टिकट पर जीतने वाला विधायक यदि पार्टी छोड़े तो उसकी सदस्यता समाप्त हो और उसे 10 वर्ष तक कोई भी चुनाव लड़ने के लिए अयोग्य ठहराया जाये। पालमपुर से जारी एक प्रेस बयान में शांता कुमार ने कहा कि एक तरफ देश में अयोध्या में राम मन्दिर शिलान्यास की भव्य तैयारियां हो रही हैं। वहीं दूसरी ओर राजस्थान में चल रहे राजनीतिक प्रकरण से सिर शर्म से झुक जाता है। राजस्थान सरकार सचिवालय में नही है। मंत्री विधायक अपने घरों में भी नही है। 95 विधायकों के साथ मुख्यमंत्री जयपुर के एक होटल में थे अब वहां से बीते कल एक विषेश विमान द्वारा जैसलमेर के एक पांच सितारा होटल में चले गये। शांता ने कहा कि राजस्थान के परिवहन मंत्री कहते हैं कि विधायकों को इसीलिए वहां ले जाना पड़ा ताकि कोई विधायक दूसरी पार्टी में न चला जाए। सचिन पायलट भी 19 विधायकों को लेकर एक पांच सितारा होटल में हैं। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री गहलोत ने कहा था कि 14 अगस्त को विधानसभा सत्र की तिथि तय होने के बाद विधायकों का भाव बढ़ गया है। पहले प्रति विधायक भाव 25 करोड़ था। अब मनमर्जी का भाव हो गया है। शांता ने उन पर तंज कसते हुए कहा कि गहलोत मुख्यमंत्री है और मुख्यमंत्री भी कांग्रेस के है। वे ही विधायकों की मण्डी का ताजा भाव ठीक-ठीक बता सकते हैं। शांता कुमार ने कहा कि यह सब पढ़ कर और सोचकर हर भारतीय को शर्म आएगी। स्वतन्त्रता के 72 वर्ष के बाद लोकतंत्र का इस प्रकार का जनाज़ा वही पार्टी निकाल रही है जो भारत की सबसे पुरानी पार्टी है। उन्होंने कहा यदि इसी प्रकार से राजनीति का अवमूल्यन होता रहा तो जनता का लोेकतंत्र से ही विश्वास समाप्त हो जाएगा। हिन्दुस्थान समाचार/सतेंद्र/सुनील-hindusthansamachar.in