श्रीरामपुर में नहीं घूमा भगवान जगन्नाथ के ऐतिहासिक रथ का चक्का, पारंपरिक तरीके से हुई पूजा
श्रीरामपुर में नहीं घूमा भगवान जगन्नाथ के ऐतिहासिक रथ का चक्का, पारंपरिक तरीके से हुई पूजा

श्रीरामपुर में नहीं घूमा भगवान जगन्नाथ के ऐतिहासिक रथ का चक्का, पारंपरिक तरीके से हुई पूजा

श्रीरामपुर, 23 जून (हि. स.)। हुगली जिले के श्रीरामपुर में 624 वर्ष प्राचीन रथयात्रा की रौनक मंगलवार को फीकी पड़ गई। भगवान जगन्नाथ के ऐतिहासिक रथ का चक्का मंगलवार को नहीं घुमा। लेकिन जगन्नाथ मंदिर के पुरोहितों ने पारंपरिक तरीके से भगवान जगन्नाथ की पूजा की। मंगलवार सुबह से ही महेश के ऐतिहासिक जगन्नाथ मंदिर में भक्तों की भीड़ देखी गई। प्रशासन के निर्देशों को मानते हुए बिना मास्क के किसी को मंदिर में प्रवेश करने की अनुमति नहीं दी गई थी। साथ ही दो गज की दूरी (सोशल डिस्टेंसिंग) के नियमों का पालन करने की भी भरपूर कोशिश की गई। भगवान के लिए भोग बनाया गया, उन्हें भोग चढ़ाया गया और उनकी पूजा-अर्चना हुई। लेकिन इस वर्ष उन्हें मंदिर से बाहर नहीं निकाला गया। मंदिर में ही बने अस्थायी मौसी के घर में भगवान जगन्नाथ, सुभद्रा और बलराम को स्थानांतरित कर दिया गया। मंदिर से नारायण शिला को बाहर निकाला गया और इसे लेकर ऐतिहासिक रथ की परिक्रमा की गई और इसे ही पैदल लेकर एक किलोमीटर दूर भगवान के मौसी के घर जाया गया। जगन्नाथ ट्रस्टी बोर्ड के सचिव पियाल अधिकारी ने बताया कि आठ दिनों तक मौसी के घर नारायण शिला की पूजा-अर्चना होगी और नौवें दिन उसे पुनः मंदिर में वापस लाया जाएगा। भगवान जगन्नाथ सुभद्रा और बलराम की पूजा अर्चना के कार्यक्रम में मंगलवार को श्रीरामपुर के सांसद कल्याण बनर्जी ने बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया। वे स्वयं नारायण शिला को लेकर भगवान के मौसी के घर गए। श्रीरामपुर के सांसद ने ऐतिहासिक रथयात्रा के भव्य आयोजन न होने पर दुःख जाहिर किया और कहा कि कोरोना महामारी के संकट के कारण सभी धर्मों के धार्मिक कार्यक्रम रद्द हुए हैं। इसका उन्हें दुख है। पूछने पर कल्याण ने बताया कि उन्होंने भगवान जगन्नाथ से ज्ञान, शक्ति और भक्ति का वरदान मांगा है। इस दौरान प्रशासन की ओर से बड़ी संख्या में पुलिस बलों को भी तैनात किया गया था। यद्यपि भगवान जगन्नाथ के रथ का पहिया इस वर्ष नहीं घूमा, परंतु भक्तों के उत्साह में कोई कमी देखने को नहीं मिल रही थी। पूरा श्रीरामपुर मंगलवार को जय जगन्नाथ के नारे से गूंज उठा। हिन्दुस्थान समाचार/धनंजय/गंगा-hindusthansamachar.in

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