my-goal-is-to-make-punjab-kings-win-their-first-ipl-trophy-jitesh-sharma
my-goal-is-to-make-punjab-kings-win-their-first-ipl-trophy-jitesh-sharma

पंजाब किंग्स को पहली आईपीएल ट्रॉफी जीताना ही मेरा लक्ष्य : जितेश शर्मा

मुंबई, 5 अप्रैल (आईएएनएस)। पंजाब किंग्स (पीबीकेएस) के विकेटकीपर-बल्लेबाज जितेश शर्मा ने स्कूल स्तर पर केवल चार प्रतिशत अतिरिक्त अंक प्राप्त करने के लिए क्रिकेट को अपनाया था। जब वह हाई स्कूल में पीसीएम भौतिकी, रसायन विज्ञान, गणित में अच्छे अंक प्राप्त करने का लक्ष्य बना रहे थे, तो उन्हें क्रिकेट में आने का अवसर मिला था और जिसके बाद उन्होंने क्रिकेट में अपनी एक नई शुरुआत की। हालांकि क्रिकेट उनका पहला मनपसंद खेल नहीं था, लेकिन बाद में उनके खेल करियर में इसका भरपूर लाभ मिला। जितेश 3 अप्रैल को ब्रेबोर्न में चेन्नई सुपर किंग्स (सीएसके) के खिलाफ पंजाब फ्रेंचाइजी की 54 रन की जीत में प्रमुख खिलाड़ियों में से एक के रूप में उभरे। 28 वर्षीय क्रिकेटर ने पहली बार अपनी टीम के 180/8 में 17 गेंदों में 26 रन बनाए और फिर दो कैच लिए - जिसमें 23 पर महेंद्र सिंह धोनी भी शामिल थे, जिससे पीबीकेएस ने सीएसके को 18 ओवर में 126 रन पर ही समेट दिया था। शर्मा ने पीबीकेएस वेबसाइट पर कहा, उस समय मैंने चार प्रतिशत अतिरिक्त अंक लेने के लिए क्रिकेट में राज्य-स्तरीय प्रतियोगिताओं में टीम का प्रतिनिधित्व किया था। शर्मा ने कहा, इसके अलावा, मैं फुटबॉल (पहला प्यार) खेलना भी मिस करता था। मैं इसे ध्यान में रखते हुए क्रिकेट खेलना चाहता था। उन्होंने अपना पहला बल्ला 17 साल की उम्र में उठाया, टीम में शामिल होने के लिए आवश्यक शर्तें पूरी करने के बाद राज्य के लिए खेलते हुए शर्मा ने विकेटकीपिंग भी की, जिसके लिए कोई कोचिंग भी नहीं ली, ज्यादातर वह अपने फुटबॉल कोशल पर भरोसा करते थे। उन्होंने कहा कि एक सही स्ट्राइकर के रूप में खेलने से उन्हें स्टंप के विकेटकीपिंग करने में मदद मिली। भारतीय वायु सेना में शामिल होने की महत्वाकांक्षा के साथ अध्ययन करने वाले शर्मा ने कहा कि उन्हें कभी नहीं पता था कि वह एक दिन क्रिकेट में आ जाएंगे। शर्मा ने कहा, जब मैं एक बच्चा था, तो मैं भारतीय वायु सेना में जाने की सोचता था। मेरी पृष्ठभूमि सेना से काफी जुड़ी हुई है। मेरे परदादा सुभाष चंद्र बोस के लिए एक ड्राइवर थे, जब भारतीय राष्ट्रीय सेना सीमा पर थी। उन कहानियों को सुनने के बाद, मैं भारतीय सेना में जाना चाहता था। प्लास्टिक की गेंदों से खेले जाने वाले गली क्रिकेट ने सबसे पहले एक प्रसिद्ध कोच का ध्यान शर्मा ने खींचा। शर्मा ने कहा, मैं फुटबॉल की ओर अधिक आकर्षित हुआ क्योंकि यह शारीरिक रूप से चुनौतीपूर्ण खेल था। यह मेरे लिए स्वाभाविक रूप से आया था। इसलिए मैं स्कूल और दोस्तों के साथ फुटबॉल खेलता था, लेकिन उनकी स्कूल टीम फुटबॉल के मामले में उतनी अच्छी नहीं थी और प्रबंधन ने क्रिकेट खेलने वाले व्यक्ति के लिए अतिरिक्त भत्ते की पेशकश की। शर्मा ने कहा कि इस सीजन में उनका उद्देश्य पंजाब किंग्स को अपनी पहली आईपीएल ट्रॉफी जीतने में मदद करना है। --आईएएनएस आरजे/एएनएम

Related Stories

No stories found.
Raftaar | रफ्तार
raftaar.in