पंजाब कांग्रेस में टकराव तेज़ , मंत्रियों ने अपने ही दो राज्य सभा सदस्य पार्टी से निकालने की मांग की
पंजाब कांग्रेस में टकराव तेज़ , मंत्रियों ने अपने ही दो राज्य सभा सदस्य पार्टी से निकालने की मांग की

पंजाब कांग्रेस में टकराव तेज़ , मंत्रियों ने अपने ही दो राज्य सभा सदस्य पार्टी से निकालने की मांग की

मंत्रियों ने कहा कि सरकार को अपने ही लोग अस्थिर करने की तैयारियों में चंडीगढ़, 6 अगस्त (हि.स.)। नकली शराब काण्ड में 111 लोगों की मौत पंजाब सरकार के लिए संकट का कारण बनती जा रही है। कांग्रेस के पंजाब से दो राज्य सभा सदस्य और प्रदेश कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष प्रताप सिंह बाजवा और शमशेर सिंह दूलों द्वारा अपनी ही सरकार के विरुद्ध करवाई की राज्य के राज्यपाल से की गई मांग और पंजाब कांग्रेस के अध्यक्ष सुनील जाखड़ के विरुद्ध की बयानबाजी के बाद अब मंत्रियों ने दोनों राज्य सभा सदस्यों के विरुद्ध मोर्चा खोल दिया है। पंजाब की समूची कैबिनेट ने इन दोनों नेताओं की पार्टी और सरकार विरोधी गतिविधियों को घोर अनुशासनहीनता बताते हुये इन्हें पार्टी से बाहर का रास्ता दिखाने की माँग की है। नकली शराब के दुखांत पर राज्य में अपनी पार्टी की सरकार पर हमला बोलने के लिए बाजवा और दूलो को बरख़ास्त करने की माँग करते हुये कैबिनेट मंत्रियों ने कहा कि दोनों राज्य सभा सदस्यों की गतिविधियों के लिए पार्टी हाई कमान को तुरंत और सख़्त कदम उठाना चाहिए। मंत्रियों ने संयुक्त बयान में कहा कि बिना किसी ढील और देरी किये दोनों सदस्यों पर तुरंत कार्रवाई की जाये। इन संसद सदस्यों की तरफ से मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिन्दर सिंह समेत राज्य सरकार पर बार -बार हमले करने का जि़क्र करते हुये उन्होंने कहा कि जब राज्य में विधान सभा चुनाव का समय दो साल से भी कम रहता हो तो ऐसे समय अनुशासनहीनता को बिल्कुल भी सहन नहीं किया जा सकता। इन दोनों नेताओं की तरफ से नकली शराब की त्रासदी पर चिंताएं ज़ाहिर करने पर सवाल उठाते हुये मंत्रियों ने कहा कि दोनों संसद सदस्यों ने अपने राज्यसभा के समय के दौरान कभी भी पंजाब के हितों का मसला नहीं उठाया जबकि वह नुमायंदगी पंजाब की करते हैं। मंत्रियों ने कहा कि दोनों ने केंद्र सरकार के किसान विरोधी आर्डीनैंस के खि़लाफ़ संसद में आवाज़ क्यों नहीं उठाई? उन्होंने कहा कि बेअदबी मामलों की जांच में सी.बी.आई की नाकामी पर दोनों ने चुप्पी क्यों नहीं तोड़ी? कैबिनेट मंत्रियों ने कहा कि नकली शराब की घटना के साथ निपटने में सरकार के विरुद्ध रोष ज़ाहिर करने के लिए पार्टी और सरकार के मंच को दरकिनार करने और इस मामले की सी.बी.आई और ई.डी से जांच करवाने के लिए राज्यपाल तक पहुँच करके दोनों संसद सदस्यों ने न सिर्फ लोकतांत्रिक शासन की बुनियाद को चोट पहुंचाई है बल्कि पुलिस फोर्स के हौसले को चोट पहुंचाने की कोशिश की, जबकि राज्य की पुलिस कोविड की महामारी के दबाव के बावजूद शराब माफीए पर शिकंजा कस रही है। मंत्रियों ने कहा कि सी.बी.आई जांच की ज़रूरत तभी पड़ती है यदि पुलिस नतीजे देने में नाकाम रह जाये, जबकि इस समय पर ऐसा नहीं है। उन्होंने कहा कि बेअदबी मामलों की जांच में सी.बी.आई. की योग्यता की कमी समूचे पंजाब ने देखी है और अब आखिर में यह मामला राज्य की पुलिस हल करने में लगी हुई है। मंत्रियों ने कहा कि यहाँ तक कि सुनियोजित किये कत्ल को भी सी.बी.आई. ने नहीं बल्कि राज्य की पुलिस ने सुलझाया हैं। उन्होंने नकली शराब केस में हर दोषी को कानून के कटघरे में खड़ा करने के लिए पंजाब पुलिस की योग्यता में भरोसा ज़ाहिर किया। मंत्रियों ने कहा कि सी.बी.आई. जांच की सिफ़ारिश करने या न करने का फ़ैसला भी राज्य सरकार ने लेना है न कि इन दोनों संसद सदस्यों ने, जो संसद में पंजाब के हितों के लिए आवाज़ उठाने के भी योग्य नहीं हैं। संसद मैंबर के तौर पर अपने फ़र्ज़ निभाने की बजाय बाजवा और दूलो अपनी सरकार को अस्थिर करने की ताक में हैं जो या तो सत्ता की लालसा की भूख मिटाने के लिए ऐसा करते हैं या फिर उन लोगों की शह से ऐसा कर रहे हैं जो पंजाब में कांग्रेस सरकार को अस्थिर करना चाहते हैं। मंत्रियों ने ज़ोर देकर कहा कि इन दोनों नेताओं ने अपने आप को निकम्मा बना लिया है और इनकी पार्टी में कोई अहमियत नहीं है और इनको बिना किसी देरी के पार्टी में से निकाल देना चाहिए। ये भी गौरतलब है कि दोनों राज्य सभा सदस्य लगातार कैप्टन सरकार पर तब तब हमला करते आ रहे है , जब सरकार के विरुद्ध कोई ऐसा मुद्दा पैदा होता है। यहाँ ये भी उल्लेखनीय है कि अपनी ही सरकार के विरुद्ध लगातार आवाज़ उठाने वाले राज्य सभा सदस्य प्रताप सिंह बाजवा को राहुल गाँधी खेमे का माना जाता है और मुख्य मंत्री कैप्टेन अमरिंदर सिंह को सोनिया गाँधी खेमे का माना जाता है। हिन्दुस्थान समाचार /नरेंद्र जग्गा-hindusthansamachar.in

Related Stories

No stories found.
Raftaar | रफ्तार
raftaar.in