निशंक ने स्वास्थ्य शिक्षा के लिए लॉन्च किया ‘चाइल्ड हेल्थ लिटरेसी प्रोग्राम’
निशंक ने स्वास्थ्य शिक्षा के लिए लॉन्च किया ‘चाइल्ड हेल्थ लिटरेसी प्रोग्राम’

निशंक ने स्वास्थ्य शिक्षा के लिए लॉन्च किया ‘चाइल्ड हेल्थ लिटरेसी प्रोग्राम’

नई दिल्ली, 03 नवम्बर (हि.स.)। केंद्रीय शिक्षा मंत्री डॉ रमेश पोखरियाल निशंक ने स्कूली बच्चों में स्वास्थ्य शिक्षा के प्रति जागरुकता के लिए मंगलवार को ‘चाइल्ड हेल्थ लिटरेसी प्रोग्राम’ और 'चाइल्ड हेल्थ ब्रिगेड' लॉन्च किया। बच्चों की शिक्षा एवं स्वास्थ्य को ध्यान में रखकर भारतीय बाल रोग अकादमी, एसडी पब्लिक स्कूल तथा एएसजीएस (एएसजीएस) ड्रीम बिग वेलफेयर एसोसिएशन ने इसे शुरू किया है। फिलहाल, इस कार्यक्रम से 45 स्कूलों के 100 से ज्यादा शिक्षक एवं प्राध्यापक तथा 1500 से ज्यादा छात्र जुड़े हैं। केंद्रीय मंत्री निशंक ने कहा कि चाइल्ड हेल्थ लिटरेसी प्रोग्राम और चाइल्ड हेल्थ ब्रिगेड के द्वारा हम स्कूली बच्चों को वैज्ञानिक रूप से स्वास्थ्य शिक्षा देकर स्वास्थ्य के प्रति बच्चों की, परिवार की तथा समाज की पारंपरिक सोच और रूढ़िवादी मानसिकता तक पहुंच सकते हैं। उनमें परिवर्तन भी कर सकते हैं और स्कूली बच्चे स्वयं स्कूल, घर या किसी भी स्थल पर चिकित्सकीय स्थिति का मूल्यांकन करने में सक्षम होंगे तथा प्रभावी कदम भी उठा सकेंगे। इसके अलावा बच्चे प्राथमिक उपचार के अपने कौशल से उन स्थानों पर जहां चिकित्सा सहायता उपलब्ध नहीं है या आपातकालीन स्थिति में स्वास्थ्यकर्मी तथा डॉक्टर के पहुंचने तक जीवन रक्षा से जुड़े महत्वपूर्ण कार्य में अपना योगदान दे सकेंगे। उन्होनें कोरोना संकट काल में ऑनलाइन शिक्षा, सीबीएसई और फिट इंडिया मूवमेंट के ऑनलाइन माध्यम से बच्चों में शारीरिक फिटनेस को बढ़ावा देने के लिए शुरू किये गए कार्यक्रम, युक्ति पोर्टल, ड्रग डिस्कवरी हैकथॉन, स्कूल शिक्षा विभाग और परिवार कल्याण मंत्रालय द्वारा संयुक्त रूप से आयुष्मान भारत के तहत स्कूली बच्चों के स्वास्थ्य में सुधार हेतु की गई पहल, इत्यादि का भी उल्लेख किया। नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति के बारे में उन्होंने कहा कि यह नीति भी शिक्षा के साथ शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य की देखभाल व उनके विकास पर जोर देती है। इस नीति के माध्यम से हेल्थ एजुकेशन से जुड़े स्नातकों की भूमिका में भी परिवर्तन की संकल्पना प्रस्तुत की गई है। अब हमारे हेल्थ ग्रेजुएट प्राथमिक एवं माध्यमिक अस्पतालों में भी कार्य करेंगे तथा निर्धारित मानदंडों के अनुसार नियमित रूप से स्वास्थ्य सुविधाओं और इनसे जुड़ी व्यवस्थाओं का मूल्यांकन भी करेंगे। इस प्रोग्राम में भारतीय बाल रोग (इंडियन अकादमी ऑफ़ पीडियाट्रिक्स) के अध्यक्ष डॉ बकुल पारेख, निर्वाचित अध्यक्ष डॉ पीयूष गुप्ता, महासचिव डॉ बसव राज, इंडियन अकादमी ऑफ़ पीडियाट्रिक्स के दिल्ली केंद्र के अध्यक्ष डॉ रमेश नभ, सचिव डॉ स्मिता मिश्रा, एसडी पब्लिक स्कूल, पीतमपुरा की प्रधानाचार्या अनीता शर्मा और स्कूल के चेयरमैन चंद्रभान गर्ग ने भी भाग लिया। हिन्दुस्थान समाचार/सुशील/बच्चन-hindusthansamachar.in

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