yogi-government-will-increase-the-number-of-sainik-schools
yogi-government-will-increase-the-number-of-sainik-schools

सैनिक स्कूलों की संख्या बढ़ाएगी योगी सरकार

लखनऊ, 15 अक्टूबर (आईएएनएस)। उत्तर प्रदेश की योगी आदित्यनाथ सरकार ने राज्य में सैनिक स्कूलों की संख्या दोगुनी करने का फैसला किया है। एक विज्ञप्ति के अनुसार मुख्यमंत्री ने कहा कि केंद्र की मंजूरी के बाद सैनिक स्कूल खोलने में निजी स्कूलों की भागीदारी बढ़ाने से उत्तर प्रदेश में सैनिक स्कूलों की संख्या में उल्लेखनीय वृद्धि होगी। इससे प्रवेश लेने में आसानी होगी। केंद्र सरकार ने 2022-23 शैक्षणिक वर्ष में 100 सरकारी स्कूलों, निजी स्कूलों और गैर सरकारी संगठनों को सैनिक स्कूल सोसायटी, रक्षा मंत्रालय से संबद्ध करने का निर्णय लिया है। ये स्कूल मौजूदा सैनिक स्कूलों से अलग होंगे और देश भर में बड़ी आबादी को प्रभावी तरीके से लागत प्रदान करने पर ध्यान केंद्रित करेंगे। यह पहल राष्ट्रीय शिक्षा नीति (एनईपी) के विजन के तहत की गई है। वर्तमान में सैनिक स्कूल सोसाइटी राज्य में तीन स्कूल चला रही है जबकि कैप्टन मनोज पांडे सैनिक स्कूल राज्य सरकार के अधीन है। केंद्र के फैसले के बाद यूपी में सैनिक स्कूलों की संख्या बढ़ेगी। इससे प्रवेश प्रक्रिया में आसानी होगी और बड़ी संख्या में छात्र अपना नामांकन करा सकते हैं। पूरे देश में रक्षा मंत्रालय द्वारा चलाए जा रहे लगभग 33 सैनिक स्कूल हैं। उत्तर प्रदेश में अन्य राज्यों की तुलना में सबसे अधिक सैनिक स्कूल हैं। राज्य में रक्षा मंत्रालय द्वारा तीन सैनिक स्कूल अमेठी, झांसी और मैनपुरी में चलाए जा रहे हैं, जबकि बागपत में एक सैनिक स्कूल का निर्माण प्रस्तावित है। गोरखपुर में एक सैनिक स्कूल का निर्माण कार्य शुरू हो गया है, जिसके लिए सरकार ने 90 करोड़ रुपये का बजट भी पास कर दिया है। ये स्कूल सीबीएसई से संबद्ध हैं। सरकार के एक प्रवक्ता ने कहा कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने केंद्र को हर संभाग में एक सैनिक स्कूल स्थापित करने का प्रस्ताव भेजा है। जो लड़कियां सेना में भर्ती होने का सपना देख रही हैं, उनके लिए उत्तर प्रदेश सरकार ने बजट में कैप्टन मनोज पांडेय सैनिक स्कूल सरोजिनी नगर को विकसित करने और उसकी क्षमता को दोगुना करने का प्रस्ताव पारित किया है। राज्य सरकार बालिका कैडेटों के लिए 150 की क्षमता वाले छात्रावास का निर्माण कर रही है। --आईएएनएस एमएसबी/आरएचए

Related Stories

No stories found.
Raftaar | रफ्तार
raftaar.in