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तमिलनाडु के विरुधनगर में विशेष दल पटाखा इकाइयों का निरीक्षण करेगी

चेन्नई, 7 जुलाई (आईएएनएस)। तमिलनाडु के मुख्यमंत्री कार्यालय ने विरुधनगर जिला प्रशासन को राज्य में अवैध पटाखा इकाइयों के साथ-साथ उचित लाइसेंस के बिना काम करने वालों पर नकेल कसने के लिए विशेष टीमों का गठन करने का निर्देश दिया है। यह कदम विरुधानगर जिले में इन इकाईयों में कई मौतों के बाद उठाया गया है। यहां राज्य में सबसे अधिक पटाखा इकाइयां हैं। इस आशय का एक नोटिस सोमवार को जिला प्रशासन को भेजा गया था, जो राजस्व, गृह, आग और बचाव, औद्योगिक सुरक्षा और स्वास्थ्य सहित कई विभागों के अधिकारियों के साथ पांच विशेष टीमों का गठन करेगा। जिला प्रशासन अवैध इकाइयों पर नकेल कसने के लिए पांच अंतरविभागीय टीमों का गठन करेगा और यह सुनिश्चित करेगा कि लाइसेंस रखने वाले दिए गए मानदंडों का पालन कर रहे हैं। सत्तूर के पास श्री मरियम्माल आतिशबाजी में आग इकाई दुर्घटना में 27 लोगों की जान चली गई और एक अन्य पटाखा इकाई विस्फोट में थायिलापट्टी में चार लोगों की मौत हो गई। शिवकाशी, सत्तूर, वेम्बकोट्टई, विरुधनगर, राजपालयम, अरुप्पुकोट्टई और श्रीविल्लुपुत्तूर के तालुकों में निरीक्षण किया जाएगा। भारतीय पटाखा उद्योग का मुख्यालय माने जाने वाले इन तालुकों का निरीक्षण एक उचित संदेश देगा कि अवैध इकाइयों को बख्शा नहीं जा सकता। विरुधनगर जिला प्रशासन के अनुसार लाइसेंस के दौरान दिए गए मानदंडों का पालन नहीं करने वाली कानूनी इकाइयों के खिलाफ भी कार्रवाई की जाएगी। जिला प्रशासन ने आईएएनएस को बताया कि फायर वर्क्स लाइसेंस नियमों का उल्लंघन करने वालों और अवैध इकाइयों को चलाने वालों को गुंडा एक्ट के तहत गिरफ्तार किया जाएगा। जिला कलेक्टर मेघनाथ रेड्डी ने आईएएनएस से बात करते हुए कहा, यह उपाय मानव जीवन को प्रभावित करने वाली हालिया त्रासदियों के कारण है और नियमित निरीक्षण से उन अवैध इकाइयों पर कार्रवाई करने में मदद मिलेगी और जो औद्योगिक सुरक्षा के तहत आवश्यक सुरक्षा नियमों सहित किसी भी मानदंड के बिना काम कर रहे हैं। जो लोग अपने घरों में पटाखे बनाते हुए पाए जाते हैं, उन्हें भी बख्शा नहीं जाएगा और उन्हें गुंडा अधिनियम के तहत कम से कम एक साल की जेल की सजा दी जाएगी। --आईएएनएस आरएचए/एएनएम

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