प्रधानमंत्री गुरुवार को विश्व की पहली डबल स्टैक डेढ किलोमीटर लम्बी कंटेनर ट्रेन को दिखाएंगे हरी झण्डी
जयपुर, 06 जनवरी (हि.स.)। वेस्टर्न डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर के न्यू रेवाड़ी-न्यू किशनगढ-मदार रेलखण्ड को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी वीडियो कॉन्फ्रेंस के जरिये गुरुवार सात जनवरी को राष्ट्र को समर्पित करेंगे। इस दौरान प्रधानमंत्री न्यू किशनगढ से न्यू अटेली के लिए इलेक्ट्रिक से चलने वाली विश्व की पहली डबल स्टैक डेढ किलोमीटर लम्बी कंटेनर ट्रेन को हरी झण्डी दिखाकर रवाना करेंगे। इस अवसर पर राजस्थान के राज्यपाल कलराज मिश्र, मुख्यमंत्री अशोक गहलोत, रेल, वाणिज्य एवं उद्योग तथा खाद्य एवं सार्वजनिक वितरण मंत्री पीयूष गोयल, सांसद भागीरथ चौधरी, दिया कुमारी, वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से उपस्थित रहेंगे। उल्लेखनीय है कि पश्चिमी समर्पित माल वहन गलियारे (वेस्टर्न डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर) न्यू रेवाड़ी-न्यू मदार खंड हरियाणा (महेंद्रगढ़ और रेवाड़ी जिलों में लगभग 79 किलोमीटर) और राजस्थान (जयपुर, अजमेर, सीकर, नागौर और अलवर जिलों में लगभग 227 किलोमीटर) में स्थित है। इसमें नौ नवनिर्मित डीएफसी स्टेशन शामिल हैं, जिनमें से छह- न्यू डबला, न्यू भगेगा, न्यू श्री माधोपुर, न्यू पचार मलिकपुर, न्यू सकून और न्यू किशनगढ़-क्रॉसिंग स्टेशन हैं। जबकि अन्य तीन- रेवाड़ी, न्यू अटेली और न्यू फुलेरा- जंक्शन स्टेशन हैं। इस खंड के शुरू होने से राजस्थान और हरियाणा के रेवाड़ी- मानेसर, नारनौल, फुलेरा और किशनगढ़ इलाके में स्थित विभिन्न उद्योगों को लाभ होगा और यह काठूवास में स्थित कॉनकोर के कंटेनर डिपो के बेहतर इस्तेमाल को भी संभव बनायेगा। यह खंड गुजरात में स्थित कांडला, पिपावाव, मुंधरा और दाहेज के पश्चिमी बंदरगाहों के साथ निर्बाध संपर्क सुनिश्चित करेगा। इस खंड के उद्घाटन के साथ, डब्ल्यूडीएफसी और ईडीएफसी (ईस्टर्न डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर) के बीच निर्बाध संपर्क संभव हो जायेगा। इससे पहले प्रधानमंत्री द्वारा 29 दिसंबर 2020 को ईडीएफसी के 351 किलोमीटर लंबेन्यू भाऊपुर-न्यू खुर्जा खंड को देश कोसमर्पित किया गया था। डबल स्टैक लॉन्ग हॉल कंटेनर ट्रेन का परिचालन डबल स्टैक लॉन्ग हॉल कंटेनर ट्रेन के परिचालन में 25 टन का बढ़ा हुआ एक्सल लोड होगा। इसे डेडीकेटेड फ्रेट कोरीडोर कार्पोरेशन ऑफ इंडिया लिमिटेड (डीएफसीसीआईएल) के लिए अनुसंधान डिजाइन और मानक संगठन (आरडीएसओ) के वैगन विभाग द्वारा डिज़ाइन किया गया है। यह डिजाइन क्षमता उपयोग और एक समान वितरित एवं स्थलवार लदान (पॉइंट लोडिंग) को अधिकतम स्तर पर ले जायेगा।कंटेनर इकाइयों के लिहाज से डब्ल्यूडीएफसी पर एक लॉन्ग हॉल डबल स्टैक कंटेनर ट्रेन में जुड़े ये वैगन भारतीय रेलवे की वर्तमान क्षमता की तुलना में चार गुना अधिक कंटेनर इकाइयों को ढो सकते हैं। डीएफसीसीआईएल भारतीय रेलवे की पटरियों पर 75 किलोमीटर प्रति घंटे की मौजूदा अधिकतम गति के मुकाबले 100 किलोमीटर प्रति घंटे की अधिकतम गति से मालगाड़ियां चलाएगा, वहीं मालगाड़ियों की 26 किलोमीटर प्रति घंटे की मौजूदा औसत गति को बढ़ाकर डीएफसी पर 70 किलोमीटर प्रति घंटा भी किया जाएगा। हिन्दुस्थान समाचार/संदीप/सुनीत-hindusthansamachar.in