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जैविक खेतीः 20 प्रकार की हरी सब्जियां घर की छत पर उगा रहे साफ्टवेयर इंजीनियर

सिवनी, 14 फरवरी(हि.स.)। जिला मुख्यालय से लगे ग्राम लूघरवाडा निवासी नितिन बघेल लाॅकडाउन में हैदराबाद से वापसी घर लौटे और जैविक खेती से घर की छत पर हरी सब्जियों की खेती करना प्रांरभ कर दिया जिससे परिवार को दैनिक उपयोग में लगने वाली सब्जियां घर में ही उपलब्ध हो रही हैंं। वहीं, नितिन बघेल द्वारा जैविक खेती की तकनीक से लगाई गई हरी सब्जियों से जिलेवासी भी इसके प्रति आकर्षित हो रहे हैंं। हैदराबाद में साफ्टवेयर इंजीनियर का काम करे लूघरवाडा निवासी नितिन बघेल ने जानकारी दी कि लाॅकडाउन के समय वह हैदराबाद से वापस अपने घर लौटे और उन्होनें कबाड़ की प्लास्टिक की टंकी, बाल्टी, कंटेनर, टब अन्य वस्तुओं में हरी सब्जियां घर की छत पर लगाया। यह सब्जियां आठ माह से वर्क फ्राम होम के साथ छत पर करीब 1 हजार वर्गफिट में जैविक तरीके से लगाई गई हैंं जो कि पौष्टिक व ताजी हरी सब्जियों है। जिससे दैनिक उपयोग में लगने वाली सब्जियां परिवार को घर में ही उपलब्ध हो रही हैं। उन्होंने बताया, कबाड़ व जुगाड़ से छत पर टमाटर, हरी धनिया, मिर्च, पालक, मैथी, गाजर, मूली, प्याज, लहसून, बैगन, केला पपीता, मुनगा, शिमला मिर्च, लाल पत्ता गोधी, पीली व सफेद फूल गोभी, करेला, गिलकी, सेमी, ककड़ी, लोकी इत्यादि सब्जियां लगाई गई हैं। जिलेवासी भी इसके प्रति आकर्षित हो रहे हैं। उन्होनें बताया कि कम्प्यूटर साइंस में आईटी विषय से इंजीनियरिंग डिग्री लेकर हैदराबाद की कंपनी में साफ्टवेयर इंजीनियर के पद पर कार्य किया है लाॅकडाउन के कारण वह घर वापस लौट आये थे। आगे बताया कि लाॅकडाउन के समय घर वापस आने पर उन्होनें घर के छत पर सब्जी लगाने का सोचा और नगरीय क्षेत्र के विभिन्न कबाडो से 200 से अधिक टूटे-फूटे कंटेनर, टंकियां, टब, बाल्टी व दूसरी बर्तन जुटाकर इसमें 20 प्रकार की सब्जियों लगानी शुरू कर दी। मिट्टी, कबाड़ के कंटेनर व ड्रिप सिस्टम पर लगभग 15 हजार रूपये खर्च किए गए हैं। वह आठ माह से छत पर सब्जियों की उपज ले रहे हैं और ड्रिप सिस्टम के जरिए पौधो की सिंचाई की जा रही है। घर में लगी पानी की टंकी से ड्रिप कनेक्शन जोड़कर पौधों को पानी दिया जा रहा है, इससे कम समय में सब्जी की बेहतर उपज मिल रही हैं। खर्च की गई राशि व जैविक तरीके से उगाई गई सब्जियों का उत्पादन कई सालों तक होता रहेगा। जिसमें बीज, गोबर खाद् व जैविक दवाईयां पर परिवार को राशि खर्च करनी पड़ेगी। और प्रतिदिन परिवार को ताजी व पौष्टिक जैविक सब्जियां घर में ही मिलेगी। नितिन बघेल ने बताया कि परिवार को बाजार से सब्जियां खरीदने की जरूरत नहीं पड़ेगी। उन्होनें हैदराबाद में घर में सब्जियों की फार्मिंग देखी है जो बहुतायत में जाती हैं। दैनिक उपयोग के लिए बड़ी संख्या में वहां लोगों द्वारा सब्जियों का उत्पादन किया जाता हैं। साफ्टवेयर इंजीनियर नितिन बघेल ने बताया बेलादार पौधों में रोग लगने के कारण उत्पादन प्रभावित हुआ। लेकिन कृषि विशेषज्ञों की सलाह से अब सब्जियों का बेहतर उत्पादन मिल रहा है। दैनिक उपयोग के लिए हर दिन कुछ सब्जियां परिवार को मिल रही हैं। एनके सिंह, वरिष्ठ कृषि विज्ञानी एवं प्रमुख ने बताया कि साफ्टवेयर इंजीनियर नितिन बघेल कबाड़ व जुगाड़ से घर की छत पर पौष्टिक व ताजी सब्जियों का उत्पादन जैविक तरीके से कर रहे है। घर की छत का उपयोग सब्जियों का उत्पादन के लिए लोग आसानी से कर सकते हैं। जिससे लोगों की सेहत में भी सुधार होगा और बाजार में मिलने वाली रसायनिक खाद से तैयार सब्जियां लोगों को घर नहीं लानी पड़ेगी। हिन्दुस्थान समाचार/रवि/मयंक-hindusthansamachar.in

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