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पाकिस्तानी अखबारों सेः संयुक्त राष्ट्र संघ की आमसभा अध्यक्ष के कश्मीर सम्बंधित बयान को दी प्रमुखता

- बिलावल भुट्टो का इमरान पर आरोप, लगातार कर्ज से करना होगा बड़े आर्थिक संकट का सामना नई दिल्ली, 28 मई (हि.स.)। पाकिस्तान से शुक्रवार को प्रकाशित अधिकांश समाचारपत्रों ने संयुक्त राष्ट्र संघ की आम सभा के अध्यक्ष की पाकिस्तान यात्रा से सम्बंधित खबरें प्रकाशित की हैं। आम सभा अध्यक्ष वोल्कन बोजकर ने कश्मीर समस्या का समाधान किया जाना जरूरी बताया है। उनका कहना है कि कश्मीर का विशेष दर्जा नहीं बदला जाना चाहिए। अखबार का कहना है कि उन्होंने जोर देकर कहा है कि दक्षिण एशिया में शांति स्थापित करने के लिए पाकिस्तान और भारत के बीच रिश्तों में बेहतरी लाना बेहद जरूरी है। उन्होंने कश्मीर समस्या को फलस्तीन समस्या से जोड़ते हुए कहा है कि दोनों समस्याएं एक जैसी हैं और इसका समाधान होना बेहद जरूरी है। अखबारों ने इस अवसर पर पाकिस्तान के विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी का एक बयान छापा है जिसमें उन्होंने कहा है कि संयुक्त राष्ट्र संघ को कश्मीर और फलस्तीन समस्या के समाधान के लिए अपनी जिम्मेदारी अदा करनी चाहिए। अखबारों ने इस मौके पर पाकिस्तान के राष्ट्रपति के जरिए संयुक्त राष्ट्र संघ आम सभा के अध्यक्ष को हिलाल-ए-पाकिस्तान सम्मान से नवाजे जाने की भी खबर दी है। अखबारों ने पाकिस्तान की संसद में पानी के मामले पर हंगामा होने की खबर देते हुए कहा है कि इस मौके पर वित्त मंत्री शौकत तरीन ने दुनियाभर के देशों में महंगाई से सम्बंधित आंकड़े पेश कर यह जताने की कोशिश की है कि पाकिस्तान में दुनियाभर के मुकाबले में महंगाई काफी कम है। अखबारों ने पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी के अध्यक्ष बिलावल भुट्टो का एक बयान छपा है जिसमें उन्होंने प्रधानमंत्री इमरान खान पर आरोप लगाया है कि अगर वह इसी तरह कर्ज लेते रहे तो आने वाले दिनों में पाकिस्तान को बड़े आर्थिक संकट का सामना करना पड़ सकता है। अखबारों ने पाकिस्तान के सेनाध्यक्ष जनरल कमर बाजवा के जरिए पाकिस्तान स्थित रूस के राजदूत से मुलाकात करने की खबर दी है। खबरों में यह भी बताया है कि जनरल बाजवा ने बिल गेट्स से भी टेलीफोन पर बात की है। फोन पर बातचीत के दौरान उन्होंने पाकिस्तान में पोलियो के खात्मे के लिए बिल गेट्स के संगठन की तरफ से की गई मदद पर उनका धन्यवाद किया है। यह सभी खबरें रोजनामा पाकिस्तान, रोजनामा नवाएवक्त, रोजनामा औसाफ, रोजनामा खबरें और रोजनामा जंग ने अपने पहले पन्ने पर छापी है। रोजनामा जंग ने एक खबर अमेरिका से दी है जिसमें बताया गया है कि अमेरिकी राज्य न्यूजर्सी में एक मंदिर के निर्माण के लिए भारत से लाए गए 200 से ज्यादा मजदूर लेबर कानूनों का उल्लंघन किए जाने की शिकायत लेकर अदालत पहुंच गए हैं। अखबार ने बताया है कि यह भी जानकारी मिली है कि अमेरिका लाए गए इन मजदूरों में अधिकांश दलित और निचले तबके के भारतीय नागरिक हैं। यह भी कहा जा रहा है कि इन मजदूरों को स्मगल करके अमेरिका पहुंचाया गया है। अखबार का कहना है कि भारत के सैकड़ों दलित और पिछड़े वर्ग के मजदूरों को न्यूजर्सी में एक आलीशान मंदिर बनाने के लिए कई राज्यों से एकत्र करके यहां लाया गया है। मन्दिर प्रबंधन पर कानून का उल्लघंन करने, मजदूरों के अधिकारों का हनन करने, इमिग्रेशन कानूनों को दरकिनार करने और उन्हें कम तनख्वाह देकर अधिक घंटो तक काम करने पर मजबूर करने का आरोप लगाया जा रहा है। रोजनामा खबरें ने भारत सरकार की सोशल मीडिया की बड़ी कंपनियों के साथ जंग शिद्दत पकड़ने की खबर दी है। खबर में बताया गया है कि सोशल मीडिया की एक बड़ी कंपनी ट्विटर ने पुलिस पर धमकी देने का आरोप लगाया है और सरकार के नए आईटी कानूनों पर सख्त टिप्पणी की है। अखबार का कहना है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सरकार सोशल मीडिया पर सरकार के खिलाफ होने वाली टिप्पणियों को रोकना चाहती है। इसीलिए सरकार ने नया आईटी कानून बनाया है। अखबार का कहना है कि ट्विटर और फेसबुक जैसे संस्थान सरकार के इस कानून को मानने से इंकार कर रहे हैं क्योंकि उनका मानना है कि यह अभिव्यक्ति की आजादी पर सरकारी हस्तक्षेप है। रोजनामा नवा-ए-वक्त ने अमेरिका से आए सिख कम्युनिटी के एक प्रतिनिधिमंडल से सम्बंधित खबर दी है। खबर में बताया गया है कि इस प्रतिनिधिमंडल ने पंजाब प्रांत के राज्यपाल चौधरी मोहम्मद सरवर से मुलाकात की है। इस मुलाकात के दौरान चौधरी मोहम्मद सरवर ने कहा है कि पाकिस्तान अल्पसंख्यकों के लिए दुनिया का सबसे सुरक्षित मुल्क है। उनका आरोप है कि भारत में अल्पसंख्यकों पर अत्याचार और उन्हें डराने धमकाने और यहां तक कि उनकी हत्या किए जाने मामले हमेशा होते रहते हैं। उन्होंने आरोप लगाया कि विश्व प्रसिद्ध करतारपुर गुरुद्वारे के लिए बनाया गया करतारपुर कॉरिडोर भारत को हज़म नहीं हो रहा है। उनका कहना है कि इस प्रोजेक्ट के जरिए भारत से बिना पासपोर्ट वीजा के यात्रियों को पाकिस्तान आकर गुरुद्वारे का दर्शन करने की इजाजत दी गई है। हिन्दुस्थान समाचार/एम ओवैस/मोहम्मद शहजाद

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