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परफार्मेंस इंडिकेटर्स आधारित रैंकिग व्यवस्था बनाएं: राज्यपाल

देहरादून, 09 अप्रैल (हि.स.)। उत्तराखंड की राज्यपाल बेबी रानी मौर्य ने शुक्रवार को कहा है कि राज्य के विश्वविद्यालयों को परफार्मेंस इण्डिकेटर्स (प्रदर्शन सूचकांक) आधारित रैंकिंग की व्यवस्था बनाने का निर्देश दिए गए थे। विश्वविद्यालयों के परफार्मेंस इण्डिकेटर्स तय करने की लिए कुलपतियों की एक समिति बनाई जाए जिसमें शासन एवं राज्यपाल सचिवालय के अधिकारी भी हों। राज्यपाल ने सभी विश्वविद्यालयों में कुलपति और रजिस्ट्रार के मध्य अच्छे तालमेल पर बल दिया। उन्होंने शासन के अधिकारियों को निर्देश दिये कि विश्वविद्यालयों की समस्याओं को गंभीरता से लें। राज्यपाल ने कहा कि विश्वविद्यालयों को पर्वतीय ग्रामीण एवं सीमांत क्षेत्रों के लिए ऐसे कार्यक्रम चलाने चाहिए जो रोजगार सृजित करने वाले हों। पलायन पर रोक लगे। राज्यपाल ने 5 जून ‘विश्व पर्यावरण दिवस’ एवं 21 जून ‘विश्व योग दिवस’ पर विश्वविद्यालयों को सार्थक कार्यक्रम आयोजित करने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि छात्र-छात्राओं को पौधरोपण तथा रोपे गये पौधों की देखभाल के लिए क्रेडिट प्रदान करने की व्यवस्था भी बनानी चाहिए। कुछ विश्वविद्यालयों में यह व्यवस्था की है। बैठक में विश्वविद्यालयों को महाविद्यालय एवं संबद्ध संस्थाओं में फैकल्टी की नियुक्ति निर्धारित मानकों के अनुरूप करने के निर्देश दिये गये। पंतनगर विश्वविद्यालय के भवनों के जीर्णोद्धार के लिए बजट की कमी की बात आने पर कुलपति और वित्त सचिव को मिलकर इसका समाधान निकालने के निर्देश दिये गये। भरसार विश्वविद्यालय में उपनल द्वारा नियुक्त कर्मचारियों के वेतनमद में 17 करोड़ रुपये के सापेक्ष मात्र 7 करोड़ रुपये अवमुक्त हुआ है। कई विश्वविद्यालयों द्वारा परीक्षा नियंत्रक, वित्त नियंत्रक की नियमित नियुक्ति न होने की समस्या बतायी गई, जिस पर राज्यपाल ने शासन के अधिकारियों को यथोचित समाधान करने के निर्देश दिये। राज्यपाल मौर्य ने विश्वविद्यालयों द्वारा गोद लिये गये गांवों में चलाये जा रहे कार्यक्रमों की जानकारी भी ली। प्रमुख सचिव उच्च शिक्षा आंनद वर्द्धन ने बताया कि राज्य के 106 महाविद्यालयों में केवल 4 ऐसे महाविद्यालय हैं जिनका स्वयं का भवन नहीं है। 23 महाविद्यालयों में भवन निर्माण का कार्य प्रगति पर है। पिछले वर्षों में 700 पद लोक सेवा आयोग द्वारा भरे गये है तथा लगभग 250 पदों का अधियाचन आयोग को भेजा जा रहा है। आयुर्वेद विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो.सुनील जोशी ने कोविड-19 से लड़ने के लिए विकसित किये गये विभिन्न आयुर्वेदिक उपायों, काढ़ों, विशेष मास्क इत्यादि की जानकारी दी। बैठक में अपर मुख्य सचिव राधा रतूड़ी, आनंद वर्द्धन, डी. सेंथिल पाण्डियन, सौजन्या, डॉ पंकज पाण्डे, श्री बृजेश कुमार संत, जितेन्द्र सोनकर, कुलपति श्रीदेव सुमन विश्वविद्यालय तथा यूटीयू डॉ. पी.पी.ध्यानी, कुलपति एच.एन.बी मेडिकल यूनिवर्सिटी प्रो.हेमचन्द, कुलपति पंतनगर विश्वविद्यालय डॉ.तेज प्रताप, कुलपति संस्कृत विश्वविद्यालय डॉ. डी.पी.त्रिपाठी, कुलपति भरसार विश्वविद्यालय डॉ.ए.के.कर्नाटक, कुलपति मुक्त विश्वविद्यालय प्रो.ओ.पी.एस नेगी, कुलपति दून विश्वविद्यालय प्रो.सुरेखा डंगवाल, कुलपति आयुर्वेद विश्वविद्यालय प्रो. सुनील जोशी, कुलपति कुमाऊँ वि.वि प्रो. एन.के.जोशी, कुलपति सोबन सिंह जीना वि.वि. प्रो.नरेन्द्र सिंह भण्डारी सहित शासन एवं राजभवन के अधिकारी उपस्थित रहे। हिन्दुस्थान समाचार/ साकेती/मुकुंद

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