कृषि राज्यमंत्री ने विद्युत चालित चाकों का किया वितरण
कृषि राज्यमंत्री ने विद्युत चालित चाकों का किया वितरण

कृषि राज्यमंत्री ने विद्युत चालित चाकों का किया वितरण

बांदा, 16 अक्टूबर (हि.स.)। प्रदेश सरकार ने आत्मनिर्भर भारत योजना प्रारम्भ की है। प्रजापति समाज के परम्परागत व्यापार को आगे बढाने के लिए मुख्यमंत्री ने माटीकला बोर्ड का गठन किया है। आप लोग विद्युत चालित चाक का प्रयोग कर पूर्ण मनोयोग से मिट्टी के अधिक से अधिक बर्तन बनायें। उक्त विचार राज्यमंत्री कृषि, कृषि शिक्षा एवं अनुसंधान उ.प्र जनपद के प्रभारी मंत्री लाखन सिंह राजपूत ने सर्किट हाउस सभागार में विद्युत चालित चाक का वितरण करने के उपरान्त उपस्थित लोगों को सम्बोधित करते हुए व्यक्त किया। उन्होंने कहा कि प्रजापति समाज की जो समस्यायें हैं उनका समाधान कराया जायेगा। अध्यक्ष उ.प्र माटी कला बोर्ड धर्मवीर प्रजापति ने कहा कि प्रदेश सरकार द्वारा चाक आपको निःशुल्क उपलब्ध कराये गये हैं। उनका उपयोग अपने परम्परागत व्यवसाय को आगे बढाने में करें। कहा कि मिट्टी के बर्तनों का प्रयोग करने से 26 पोषक तत्व प्राप्त होते हैं। इसलिए आप स्वयं भी मिट्टी के बर्तनों का प्रयोग करें। यदि आप लोग समूह बनाकर कार्य करेंगे तो प्रदेश सरकार द्वारा 10 लाख की मशीनें आपको उपलब्ध करायी जायेंगी। सरकार द्वारा आपको पहले तीन दिवसीय तथा बाद में 15 दिन का प्रशिक्षण भी दिलाया जायेगा। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्रीजी ने जनसामान्य से अपील की है कि वह दीपावली में मिट्टी से बने दीयों का प्रयोग अवश्य करें। दीपावली में आप लोग अच्छी से अच्छी मूर्तियां बनायें जिससे चीन की मूर्तियां न बिक सकें। मिट्टी के बर्तनों का अधिक से अधिक उपयोग कर हम प्रकृति का भी संरक्षण कर सकते हैं। प्लास्टिक का उपयोग रोकने के लिए जिला प्रशासन द्वारा कार्यवाही की जाए। भाजपा जिलाध्यक्ष रामकेश निषाद ने कहा कि मुख्यमंत्रीजी ने इस कला को आगे बढ़ाने के लिए महत्वपूर्ण कार्य किया है और इसी कड़ी में आज चाकों का वितरण किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि आपकी समस्याओं के निस्तारण में पूर्ण सहयोग प्रदान किया जायेगा। अन्त में जिला ग्रामोद्योग अधिकारी राजेन्द्र कुमार ने सभी का आभार व्यक्त किया। इस अवसर पर माटीकला बोर्ड के सदस्य बरदानी प्रसाद प्रजापति, विधायक सदर के प्रतिनिधि रजत सेठ, सोनू सिंह तथा प्रजापति समाज के लोग उपस्थित रहे। हिन्दुस्थान समाचार/अनिल/विद्या कान्त-hindusthansamachar.in

Related Stories

No stories found.
Raftaar | रफ्तार
raftaar.in