महाराष्ट्र के मंदिरों के बाहर भिक्षा मांगने वाली लक्ष्मी की वाइल्ड लाइफ एसओएस ने दावत दें मनाई सांतवीं वर्षगांठ
महाराष्ट्र के मंदिरों के बाहर भिक्षा मांगने वाली लक्ष्मी की वाइल्ड लाइफ एसओएस ने दावत दें मनाई सांतवीं वर्षगांठ

महाराष्ट्र के मंदिरों के बाहर भिक्षा मांगने वाली लक्ष्मी की वाइल्ड लाइफ एसओएस ने दावत दें मनाई सांतवीं वर्षगांठ

- लक्ष्मी ने अपनी साथी बिजली और चंचल के साथ जमकर दावत का उठाया आनंद मथुरा, 29 जुलाई(हि.स.)। महाराष्ट्र के मंदिरों के बाहर भिक्षा मांगने वाली हथिनी लक्ष्मी के मालिक ने उसे बड़ापाव और मिठाईयां दे देकर अस्वस्थ कर दिया था जिसे 2013 में वाइल्ड लाइफ एसओएस ने रेस्क्यू उसे वहां से मुक्त कराते हुए फरह हाथी संरक्षण देखभाल कर उस जिन्दगी प्रदान की, बुधवार उसकी सांतवीं वर्षगांठ पर केंद्र में पशु चिकित्सकों और हाथियों की देखभाल में लगे कर्मचारियों ने लक्ष्मी और उसके दोस्तों के लिए एक विशेष दावत का आयोजन किया। गौरतलब हो कि 2013 में रेस्क्यू से पहले लक्ष्मी, मुंबई के हलचल भरे शहर में एक भीख मांगने वाली हथिनी थी। वह मंदिरों के बहार खड़ी रहती और लोग उसे गणेश का अवतार मानते हुए मीठा प्रसाद या तला हुआ भोजन खिलाते स लक्ष्मी एक ही दिन में करीब 200 वड़ा पाव खाती थी, और यह अस्वस्थ और अप्राकृतिक आहार बहुत ही कम उम्र में उसके मोटापे, ऑस्टियोआर्थराइटिस और कटे-फटे पैरों के तलवे जैसे अन्य स्वास्थ्य मुद्दों का कारण बन गया। वाइल्ड लाइफ एसओएस ने मुंबई पुलिस और राज्य के वन विभाग के सहयोग से लक्ष्मी को रेस्क्यू कर मथुरा स्थित हाथी संरक्षण एवं देखभाल केंद्र में विशेष उपचार और देखभाल के लिए ले आए। आज उसकी सातवीं वर्षगांठ मनाने के लिए, केंद्र में पशु चिकित्सकों और हाथियों की देखभाल में लगे कर्मचारियों ने लक्ष्मी और उसके दोस्तों के लिए एक विशेष दावत का आयोजन किया। लक्ष्मी अपनी साथी बिजली और चंचल के साथ जब सुबह टहल कर वापस आई तो केंद्र में उसके लिए सजाये गए पसंदीदा फलों के भंडार को देख कर उसकी खुशी का ठिकाना नहीं था। उसने तुरंत तरबूज और कद्दू के टुकड़ों को बिखेर दिया और पल भर में ही उन्हें खा लिया। हिन्दुस्थान समाचार/महेश/मोहित-hindusthansamachar.in

Related Stories

No stories found.
Raftaar | रफ्तार
raftaar.in