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हजरत अली इल्म के समंदर हैं, उनकी शिक्षाओं से प्रेरणा लेकर व्यवहार करना चाहिए : आरिफ मोहम्मद खान

-शिया पीजी कॉलेज में "हजरत अली और मानवता" विषय पर हुआ सेमिनार -केरल के राज्यपाल ने कहा, हजरत अली की बताई शिक्षाएं आज भी मानवता को करती हैं प्रेरित लखनऊ, 06 मार्च (हि.स.)। हजरत अली इल्म का समंदर हैं, उनकी बताई हुई शिक्षाएं आज भी मानवता को प्रेरित कर रही हैं। हमें उनकी शिक्षाओं से प्रेरणा लेकर व्यवहार करना चाहिए, जिससे इंसानियत की तरक्की हो सके। ये बातें शनिवार को केरल के राज्यपाल आरिफ मोहम्मद खान ने कही। वे शिया पीजी कॉलेज में "हजरत अली और मानवता" विषय पर आयोजित राष्ट्रीय संगोष्ठी में बोल रहे थे। लखनऊ विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. आलोक कुमार राय ने कहा कि इंसानियत से बड़ा कोई धर्म नहीं होता। अगर हम इंसानी कानूनों के ऊपर अमल करें तो पूरी तरह अमन चैन रहेगा। कार्यक्रम की शुरूआत में शिया पीजी कॉलेज एनसीसी की आर्मी और नेवल विंग के कैडेट्स के द्वारा राज्यपाल तथा कुलपति को गार्ड आफ आनर प्रस्तुत करके आगवानी की। प्रथम सत्र में मजलिस-ए-उलेमा शिया कॉलेज के सेक्रेरट्री मौलाना यासूब अब्बास नें सभी अतिथियों का स्वागत करते हुए कहा कि हजरत अली की हुकूमत के कार्यकल में कोई भी शक्स भूखा नहीं रहा। कोई ऐसा नही था जिसके तन पर कपड़े न हो और सर पर छत न हो यानी आज के 1400 वर्ष पहले हजरत अली ने अपने कार्यकाल में रोटी, कपड़ा और मकान की मूलभूत सुविधाओं को हल कर दिया था। रूहेलखण्ड तथा आगरा विश्वविद्यालय के पूर्व कुलपति और प्रमुख अर्थशास्त्री प्रो. मोहम्मद मुजम्मिल ने कहा कि बीमारों की, गरीबों की और यतीमों की जिस प्रकार हजरत अली नें मदद की वो अपने आप में मिसाल है। इसके अलावा एक बीमार शक्स हजरत अली की शहादत के बाद उनको याद करके रोया करता था क्योंकि हजरत अली उसको अपने हाथ से खाना खिलाते थे और उसके जख्मों पर पट्टी करते थे लेकिन जब उसको पता चला कि अब हजरत अली इस दुनिया में नही है तो उसने एक लम्बी सांस ली और उसकी मृत्यु हो गयी। हिन्दुस्थान समाचार/उपेन्द्र/दीपक

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