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आईआईटी से मोतीझील के बीच सभी मेट्रो स्टेशनों का तैयार हुआ कॉनकोर्स का आधार

— मेट्रो परियोजना में तेजी से चल रहा काम, साढ़े सात माह में रखे गये सभी डबल टी—गर्डर कानपुर, 14 मार्च (हि.स.)। कानपुर मेट्रो के सिविल निर्माण की गति को बनाए रखने के लिए उत्तर प्रदेश मेट्रो रेल कॉर्पोरेशन लिमिटेड (यूपीएमआरसी) ने शुरुआत से ही कई नए प्रयोगों को अपनी कार्यशैली में प्राथमिकता दी है। इसी कड़ी में यूपी मेट्रो ने मेट्रो स्टेशनों के कॉनकोर्स (पहला तल) का आधार तैयार करने के लिए डबल टी-गर्डर्स का नया प्रयोग किया था, जो भारत में पहली बार था। इस नवोन्मेष की बदौलत, यूपी मेट्रो की टीम ने लगभग 7.5 महीने के बेहद कम समय में आईआईटी से मोतीझील के बीच निर्माणाधीन प्रयॉरिटी कॉरिडोर के सभी नौ मेट्रो स्टेशनों के कॉनकोर्स का आधार तैयार कर लिया है। यूपी मेट्रो ने इस सेक्शन के सभी 439 डबल टी-गर्डर्स का परिनिर्माण (इरेक्शन) पूरा कर लिया। बता दें कि डबल टी-गर्डर्स का प्रयोग इस उद्देश्य के साथ किया गया था कि मेट्रो स्टेशनों के निर्माण में लगने वाले समय की बचत हो और साथ ही, मेट्रो स्टेशनों की ढांचागत सुंदरता में भी इजाफा हो। पिछले वर्ष 25 जुलाई को यूपी मेट्रो ने आईआईटी मेट्रो स्टेशन से डबल टी-गर्डर्स के इरेक्शन की शुरुआत की थी, जिसका काम कल रात मोतीझील स्टेशन पर आखिरी डबल टी-गर्डर के इरेक्शन के साथ पूरा हुआ। कानपुर में मेट्रो निर्माण से जुड़ी इस उपलब्धि पर यूपी मेट्रो की पूरी टीम को बधाई देते हुए प्रबंध निदेशक कुमार केशव ने कहा कि कानपुर में 15 नवंबर, 2019 को मुख्यमंत्री द्वारा सिविल निर्माण कार्य के उद्घाटन के बाद से यूपी मेट्रो और कॉन्ट्रैक्टर ऐफकॉन्स की टीम ने लगातार सिविल निर्माण की तेज गति को बरकरार रखा, जिसके लिए पूरी टीम बधाई की पात्र है। डबल टी-गर्डर्स के नवोन्मेष ने अपने उद्देश्य की पूर्ति की और हमने लगभग 7.5 महीने के रेकॉर्ड समय में सभी नौ स्टेशनों के कॉनकोर्स का आधार तैयार कर लिया, जो एक बड़ी उपलब्धि है। हिन्दुस्थान समाचार/अजय/मोहित

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