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कोरोना की जंग में शहरवासियों की दिख रही सहभागिता, सड़कों पर पसरा सन्नाटा

— ग्रामीण क्षेत्रों में भी बंद रही दुकानें, खेतों पर कृषि कार्य में जुटे रहे किसान कानपुर, 18 अप्रैल (हि.स.)। वैश्विक महामारी कोरोना के संक्रमण के फैलाव की चेन तोड़ने के लिए शासन ने सप्ताहांस लॉकडाउन घोषित कर दिया है। इस सप्ताहांस को सफल बनाने के लिए प्रशासन से लेकर पुलिस कोई कोर कसर नहीं छोड़ रही है। वहीं शहरवासी भी कोरोना की जंग में पूरी तरह से सहभागिता दिखा रहे हैं और कोई भी व्यक्ति बिना आवश्यक काम के बाहर नहीं निकल रहा है। बाजारें पूरी तरह से बंद है और संड़कों पर सन्नाटा पसरा हुआ है। इसके साथ ही ग्रामीण क्षेत्रों में दुकानें बंद हैं और किसान अपने कृषि कार्य में जुटे हुए हैं। राजधानी लखनऊ के साथ औद्योगिक नगरी कानपुर नगर में भी कोरोना की दूसरी लहर लोगों के बीच तेजी से पांव पसार रही है। लगातार कोरोना पॉजिटिव के केस बढ़ रहे हैं और लोगों की चिंताएं बढ़ना स्वाभाविक है। ऐसे में शासन ने सप्ताहांस लॉकडाउन लगा दिया है और लोग भी अबकी बार भलीभांति समझ रहे हैं कि कोरोना की चेन तोड़ने के लिए एक—दूसरे से संपर्क को खत्म किया जाये। इसी के चलते कोरोना की जंग में शासन के निर्देश पर शहरवासियों की पूरी तरह से सहभागिता दिख रही है। कोई भी व्यक्ति अनावश्यक रुप से घरों से नहीं निकलना चाह रहा है और लोग खुद ब खुद चर्चा कर एक—दूसरे को बाहर निकलने से मना कर रहे हैं। जबकि पिछले लॉकडाउन में देखा जा रहा था कि पुलिस को सख्ती करना पड़ा था। लोगों की सहभागिता देख पुलिस भी अबकी बार अधिक परेशान होते नहीं दिख रही है। 35 घंटे के कर्फ्यू के दौरान सड़कें पूरी तरह सूनी रहीं और बाजार बंद। बीच-बीच में इक्का-दुक्का लोग ही निकलते नजर आए। सब्जी मंडी, किराना और यहां तक की दूध की भी दुकानें बंद रहीं। शहर के प्रमुख व्यावसायिक हिस्से पूरी तरह बंद रहे वहीं ग्रामीण क्षेत्र में भी वाहनों का आवागमन बंद रहा। सड़कों पर कभी कभार दिख रहे वाहन सप्ताहांस बंदी को लेकर जितना पुलिस सख्त है उतना ही लोग भी सजग दिख रहे हैं। जगह—जगह चौराहों पर पुलिस मुस्तैद है, पर सड़कों पर नाममात्र के ही लोग निकल रहे हैं। यह वही लोग हैं जिनको शर्तों के साथ छूट दी गई है। हमेशा भीड़ भाड़ रहने वाली रामादेवी की सब्जी मंडी में रविवार को पूरी तरह सन्नाटा था। हाईवे पर भी सामान्य दिनों के मुकाबले भारी वाहनों की संख्या कम नजर आई। वाहनों के नाम पर कभी कभार दोपहिया व चार पहिया वाहन ही निकल रहे थे। सुबह के बाद जैसे-जैसे धूप बढ़ी सड़कों पर और अधिक सन्नाटा हो गया। ग्रामीण क्षेत्रों में बिल्हौर, घाटमपुर, बिठूर, मंधना, महाराजपुर आदि क्षेत्रों के गांवों में भी सड़कें खाली थीं। पुलिस की अपील पर ग्रामीणों ने भी दिखाई सहभागिता लाॅकडाउन को सफल बनाने के लिए पुलिस ने रुमा, महाराजपुर , सरसौल , सिकठिया आदि में लोगों को जागरुक किया। पुलिस ने लोगों से अपील की कि संक्रमण से सुरक्षा के लिए सरकार के दिशा-निर्देशों का पालन करना होगा। अपनी और अपनों की सुरक्षा के लिए माॅस्क और शारीरिक दूरी का जरुर पालन करें। इसका असर ग्रामीण क्षेत्रों व हाईवे से जुड़े कस्बों में भी साफ देखा जा सकता है। सभी दुकानें बंद रहीं और गलियों व हाईवे किनारों पर सन्नाटा पसरा रहा। नवरात्र व मांगलिक कार्यों के चलते पिछले एक सप्ताह से ग्रामीण बाजारों में भी खूब रौनक थी और ग्राहकों की चहलकदमी से दुकानें गुलजार थीं। लेकिन रविवार को लाॅकडाउन के चलते ग्रामीण क्षेत्रों की सभी बाजारों में सन्नाटा पसरा रहा। हाईवे किनारे दुकानों में लगने वाला जमघट भी नजर नहीं आया। हिन्दुस्थान समाचार/अजय/मोहित

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