चुनाव ड्यूटी में शिक्षकों की मौत पर मिले 50 लाख राशि व एक सदस्य को नौकरी : त्रिभुवन सिंह

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कानपुर, 29 अप्रैल (हि.स.)। पंचायत चुनाव के दौरान ड्यूटी पर लगे शिक्षक जिनकी कोरोना से मौत हो गई, उसे लेकर उत्तर प्रदेश प्राथमिक शिक्षा मित्र संघ ने राज्य निर्वाचन आयोग से मृतकों के परिवार को आर्थिक मदद की मांग की है। शिक्षक संघ ने मृतकों के परिवार के एक सदस्य को नौकरी देने की भी मांग की है। प्रदेश उपाध्यक्ष त्रिभुवन सिंह ने बताया की उत्तर प्रदेश में चल रहे पंचायत चुनाव में अनियमितता बरती जा रही है। जहां एक तरफ कोविड-19 जैसी महामारी पैर पसार रही है वही सरकारी कर्मचारियों, संविदा कर्मियों को मौत की आग में बिना किसी सुरक्षा के झोंका जा रहा है। बड़े दुख के साथ कहना है कि अब तक प्रशिक्षण एवं चुनाव कराने के बाद प्रदेश के अलग-अलग जिलों से तीन दर्जन से अधिक संविदा शिक्षक दम तोड़ चुके हैं। जिन्हें ना तो जिले के जिला अधिकारी के द्वारा ना विभाग के द्वारा उनके परिवार को मुआवजा दिया गया है। खेद है जहां कर्मचारी 25 साल सेवा देने के बाद भी यदि सरकार इतने जोखिम भरे दिनों में कार्य ले रही है। तो व्यक्ति के ना रहने पर उसके परिवार वालों के लिए भी सुरक्षा होनी चाहिए। परिवार वालों को मुआवजा मिलना चाहिए। हम कोविड-19 से मृत्यु को प्राप्त कर्मचारियों के परिवार वालों के लिए पचास लाख रुपये की एवं परिवार के एक सदस्य को नौकरी की मांग करता हूं। जहां एक तरफ सरकार शराब पीकर मरने वालों ने पांच लाख देती है। क्या सरकार इतने गंभीर मामले में उनके परिवार वालों को अनुकंपा राशि नहीं देनी चाहिए। हिन्दुस्थान समाचार/अवनीश

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