शंभू पुजारी की मौत का मामला:मांगों पर सहमति बनने के बाद आंदोलन समाप्त, जांच संभागीय आयुक्त को सौंपी
जयपुर/दौसा,11 अप्रैल(हि.स.)। दौसा जिले के महवा क्षेत्र के शंभू पुजारी की मौत को लेकर जयपुर में किया जा रहा आंदोलन सरकार के साथ मांगों पर सहमति बनने के बाद रविवार को समाप्त हो गया। इस मामले की जांच संभागीय आयुक्त करेंगे। सरकार के साथ बातचीत में शामिल प्रतिनिधिमंडल के सदस्य एवं भारतीय जनता पार्टी के नेता अरुण चतुर्वेदी ने सहमति बनने के बाद कहा कि इस मामले में सरकार के साथ सहमति बन गई है और मंदिर माफी की जमीन के संरक्षण के लिए एक समिति बनाई जा रही है जो अध्ययन कर अपनी अनुशंसा सरकार को देगी। इसके बाद सरकार इस पर कानून बनाएगी। 11 सदस्यीय प्रतिनिधिमंडल पहुंचा सचिवालय चतुर्वेदी ने बताया कि राज्य सरकार का बुलावा आने के बाद रविवार को राज्यसभा सांसद किरोड़ीलाल मीणा की अगुवाई में 11 सदस्यीय प्रतिनिधिमंडल सचिवालय पहुंचा था। इसमें सांसद रामचरण बोहरा, पूर्व मंत्री अरुण चतुर्वेदी, शहर अध्यक्ष राघव शर्मा, विधायक अशोक लाहोटी, राजेश कर्नल, मुकेश दाधीच सहित ब्राह्मण संगठनों के पदाधिकारी शामिल थे। वहीं, सरकार की तरफ से मुख्य सचेतक विधायक महेश जोशी, मुख्य सचिव निरंजन आर्य, डीजीपी एमएल लाठर, पुलिस कमिश्नर आनंद श्रीवास्तव सहित आला अधिकारी मौजूद रहे। सरकार के साथ वार्ता में बनी सहमति के बाद दोनों पक्षों ने समझौता पत्र पर दस्तखत किए। समझौता होने के बाद भाजपा के राज्यसभा सांसद किरोड़ीलाल मीणा ने आंदोलन और धरना खत्म करने की घोषणा की। जांच संभागीय आयुक्त द्वारा की जाएगी इस मामले की जांच संभागीय आयुक्त द्वारा की जाएगी। निष्पक्ष जांच के लिए इस मामले से जुड़े अधिकारी तहसीलदार महवा, एडीएम एवं ईओ नगरपालिका को एपीओ किया जाएगा। संभागीय आयुक्त इस मामले की जांच 30 अप्रैल तक करेंगे। वहीं पुजारी की जमीन हड़पने वाले भूमाफिया के खिलाफ महुआ थाने में दर्ज मामले की जांच आईजी की देखरेख में होगी। उन्होंने बताया कि महवा टीकरी गांव में भूमाफिया के कब्जे में गई पुजारी की 2 बीघा जमीन को 145 सीआरपीसी के तहत कुर्क किया जाएगा। प्रतिनिधिमंडल ने यह जमीन स्थानीय ब्राह्मण परिवारों को देने का आग्रह किया है। जमीन पर बनी दुकानें जांच के दौरान सील रहेगी। इस मामले को लेकर आंदोलन का नेतृत्व कर रहे सांसद किरोड़ी लाल मीणा ने बताया कि पुजारी के शव का सवाई मानसिंह अस्पताल में पोस्टमार्टम होने के बाद टीकरी गांव में मंदिर की जिस दो बीघा जमीन को भूमाफिया ने पुजारी से हड़पा था, उसी जमीन पर अंतिम संस्कार किया गया। पूनिया के नेतृत्व में निकाला पैदल मार्च जब सचिवालय में किरोड़ीलाल मीणा और सरकार के बीच बातचीत हो रही थी, उसी वक्त भाजपा प्रदेशाध्यक्ष डॉ. सतीश पूनिया ने अपने सैंकड़ों कार्यकर्ताओं के साथ सरदार पटेल मार्ग से धरनास्थल तक पैदल मार्च निकाला। इसमें भाजपा कार्यकर्ताओं ने सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी की। गौरतलब है कि गौरतलब है कि दौसा जिले के टीकरी गांव में मूक बधिर पुजारी के मंदिर की 26 बीघा जमीन की भूमाफियाओं ने रजिस्ट्री करवा ली। आरोप है कि सब रजिस्ट्रार से लेकर पूरा प्रशासन भूमाफियाओं से मिला हुआ था। धोखाधड़ी से जमीन की रजिस्ट्री बनने के बाद पहले से बीमार चल रहे पुजारी की तबीयत और बिगड़ी। ज्यादा तबीयत बिगड़ने पर उसे 29 मार्च को महवा सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में भर्ती कराया था। प्राथमिक उपचार के बाद उसे 30 मार्च को गंभीर अवस्था में जयपुर रेफर किया गया था। 2 अप्रैल को जयपुर के एसएमएस अस्पताल में इलाज के दौरान उसकी मौत हो गई। पुजारी की मौत के मामले को लेकर सांसद मीणा ने उनके शव को लेकर महवा थाने के बाहर धरना शुरू कर दिया था और इस पर कोई बात नहीं बनने पर वह शव को लेकर जयपुर पहुंच गए और यहां उनके नेतृत्व में सिविल लाइन फाटक पर आंदोलन शुरू कर दिया गया था। हिन्दुस्थान समाचार/दिनेश/संदीप