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संक्रमण की रोकथाम एवं उपचार में राजस्थान ने कायम की मिसाल: चिकित्सा मंत्री

जयपुर, 28 मई (हि.स.)। चिकित्सा एवं स्वास्थ्य मंत्री डॉ. रघु शर्मा ने कहा कि कोरोना संक्रमण की रोकथाम एवं रोगियों के उपचार में राजस्थान सरकार ने एक मिसाल कायम की है। चिकित्सा मंत्री शुक्रवार को द अमेरिकन इंडिया फाउंडेशन द्वारा आयोजित वर्चुअल कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के तौर पर संबोधित कर रहे थे। डॉ शर्मा ने द अमेरिकन इंडिया फाउंडेशन द्वारा कोविड महामारी की रोकथाम व उपचार में दिए जा रहे सहयोग के लिए फाउंडेशन से जुड़े सभी महानुभावों के प्रति साधुवाद व्यक्त किया। फाउंडेशन ने 22 मई को ही 6 हजार सिंगल यूज वेंटिलेटर और 3 हजार मल्टीयूज मॉनिटर्स एसएमएस मेडिकल कॉलेज को सौंपे हैं। इससे पूर्व कोविड की पहली लहर के दौरान आरयूएचएस को 15 वेंटिलेटर सहित स्वास्थ्य विभाग को 12 हजार प्रीवेंटिव किट्स और 1100 पीपीई किट्स का भी सहयोग दिया गया । डॉ शर्मा ने कहा कि देश के सबसे बड़े प्रदेश राजस्थान ने कोविड की पहली और दूसरी लहर में संक्रमण की रोकथाम एवं रोगियों के उपचार में राजस्थान सरकार ने एक मिसाल कायम की है। उन्होंने बताया कि कोरोना जांच क्षमता शून्य से बढ़ाकर 1 लाख 45 हजार की गई है। आमजन और समस्त संस्थाओं के सक्रिय सहयोग से कोविड के लगभग सभी पैरामीटर्स में राजस्थान की स्थिति देश मे सर्वाधिक प्रभावी रही है। चिकित्सा मंत्री ने कहा कि मुख्यमंत्री ने कोविड और ब्लेक फंगस जैसी महामारी में सभी रोगियों के निःशुल्क उपचार की व्यवस्था करने का अभिनव कार्य किया है। इन दोनाें बीमारियों को चिरंजीवी योजना से जोड़कर राजकीय एवं सूचीबद्ध निजी अस्पतालों में निःशुल्क उपचार किया जा रहा है। राजस्थान सतर्क है, को मूलमंत्र मानकर संक्रमित की पहचान कर कोरोना संक्रमण की कड़ी को तोड़ने के लिए जांच पर विशेष ध्यान दिया जा रहा है। चिकित्सा विभाग द्वारा कई टीमें बनाकर गांवों में व्यापक स्तर पर डोर टू डोर सर्वे करवाया जा रहा है। सर्वे में मरीजों में आईएलआई केस मिलने पर उनका एंटीजन टेस्ट करवाया जा रहा है। मरीजों की रिपोर्ट निगेटिव आने पर सबका आरटीपीसीआर टेस्ट भी करवाया जा रहा है। सरकार द्वारा औसतन 80 हजार टेस्ट प्रतिदिन किए जा रहे हैं। सरकार की मंशा ज्यादा से ज्यादा कोरोना टेस्ट कर संक्रमण को नियंत्रित करने की है। डॉ. शर्मा ने बताया कि कोरोना की संभावित तीसरी लहर को देखते हुए चिकित्सा विभाग ने अभी से ही व्यापक तैयारिया प्रारंभ कर दी है। प्रदेश के सभी शिशु चिकित्सालयों व अन्य यूनिटों में आईसीयू बैड्स की संख्या बढ़ाई जा रही है। साथ ही, वहां ऑक्सीजन जनरेशन के प्लांट व सेंट्रलाइज आक्सीजन सिस्टम का कार्य किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि सरकार अपने स्तर पर व्यापक प्रयास कर रही है लेकिन इन प्रयासों में अमेरिकन इंडिया फाउंडेशन जैसी संस्थाओं की भी महत्वपूर्ण भूमिका है। राजस्थान फाउंडेशन आयुक्त धीरज श्रीवास्तव ने बताया कि कोविड की रोकथाम और उपचार में प्रवासी राजस्थानियों ने सराहनीय योगदान दिया है। उन्होंने बताया कि कोरोना संकट के समय प्रवासी राजस्थानियों ने न केवल चिकित्सा उपकरण उपलब्ध कराए बल्कि प्रवासी राजस्थानी चिकित्सकों ने मरीजों को चिकित्सा परामर्श देने का भी सराहनीय कार्य किया। चिकित्सा शिक्षा के शासन सचिव वैभव गालरिया व चिकित्सा सचिव सिद्धार्थ महाजन ने भी अपने विचार व्यक्त किए। द अमेरिकन इंडिया फाउंडेशन के कंट्री हैड मैथ्यू जॉसेफ ने बताया कि सन 2001 में अपनी स्थापना के बाद से ही फाउंडेशन हमारे देश मे शिक्षा, स्वास्थ्य, रोजगार, पर्यावरण आदि अनेक क्षेत्रों में उल्लेखनीय योगदान दे रहा है। हिन्दुस्थान समाचार/रोहित/संदीप

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