आमजन में पुलिस की सकारात्मक छवि का प्रसार करने की जरूरत- राज्यपाल
सुरक्षा व्यवस्था की चुनौतियों से निपटने में अहम भूमिका निभाए पुलिस विश्वविद्यालय - मुख्यमंत्री जयपुर, 04 फरवरी(हि.स.)। राज्यपाल कलराज मिश्र ने कहा है कि पुलिस अपराधों की रोकथाम करने के साथ ही समाज हितकारी कार्यों में भी उल्लेखनीय भूमिका निभाती है। कोविड वैश्विक महामारी के दौर में पुलिस ने अपनी भूमिका बहुत अच्छे से निभाई है। उन्होंने आवश्यकता जताई कि ब्रिटिश काल से चली आ रही पुलिस की दमनकारी छवि को बदलते हुए इसकी सकारात्मक छवि आमजन में प्रस्तुत की जानी चाहिए। राज्यपाल गुरुवार को यहां राजभवन से सरदार पटेल पुलिस, सुरक्षा एवं दाण्डिक न्याय विश्वविद्यालय जोधपुर के स्थापना दिवस समारोह को संबोधित कर रहे थे। कार्यक्रम में मुख्यमंत्री अशोक गहलोत भी मुख्य अतिथि के तौर पर उपस्थित थे। मिश्र ने वर्तमान समय के अनुरूप पुलिसिंग रणनीतियों पर जोर देते हुए कहा कि अपराधों के स्वरूप लगातार बदलने तथा नई-नई प्रौद्योगिकी के विकास के कारण पुलिस से पहले की तुलना में उम्मीदें कई गुना बढ़ी हैं। उन्होंने कहा कि डिजिटल मुद्राओं के चलन के कारण साइबर मनी लॉन्डि्रंग की नई चुनौती उभर कर सामने आई है। साइबर क्राइम में अपराधियों के बढ़ते रूझान, एन्कि्रप्टेड मैसेजिंग एप्स के इस्तेमाल और डार्क वेब में ड्रग्स की बिक्री को देखते हुए सूचना एवं संचार प्रौद्योगिकी से संबंधित नवीनतम तकनीक से पुलिस को आद्यतन किये जाने की आवश्यकता है, पुलिस विश्वविद्यालय को इस दिशा में पहल करनी चाहिए। इस अवसर पर मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा कि राज्य सरकार ने पुलिस सेवा और सुरक्षा व्यवस्था के क्षेत्र में गहन शोध एवं अनुसंधान के लिए जोधपुर में सरदार पटेल पुलिस सुरक्षा एवं दाण्डिक न्याय विश्वविद्यालय की स्थापना की थी। उन्होंने कहा कि कानून व्यवस्था को लेकर वर्तमान में आ रही चुनौतियों तथा आंतरिक सुरक्षा जैसे विषयों में विशेषज्ञता हासिल करने की दिशा में यह विश्वविद्यालय अहम भूमिका निभाए। गहलोत ने कहा कि दुनिया में तेजी से बदलते हालात, साइबर अपराधों सहित सुरक्षा से संबंधित विभिन्न पक्षों में मजबूती हासिल करने के लिए ऎसे विश्वविद्यालयों का महत्व बढ़ जाता है। राज्य सरकार ने हाल ही में केन्द्रीय गृह मंत्रालय को पत्र लिखकर नेशनल फोरेंसिक साइंस यूनिवर्सिटी और सरदार पटेल पुलिस विश्वविद्यालय के बीच साझेदारी की पेशकश की है। इसके माध्यम से जोधपुर में फोरेंसिक साइंस इंस्टीटयूट स्थापित हो सकेगा, जिससे फोरेंसिक विशेषज्ञ तैयार होंगे और पुलिस जांच का कार्य वैज्ञानिक तरीके से हो सकेगा। मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार ने विगत दो साल में कई नवाचारों के माध्यम से पुलिसिंग को पब्लिक फ्रेंडली बनाते हुए बेहतर कानून-व्यवस्था कायम की है। इन नवाचारों से प्रदेश में अपराधों के निस्तारण में काफी तेजी आई है। मुख्यमंत्री ने कहा कि राजस्थान पहला राज्य है जहां फरियादी को न्याय दिलाने की सोच के साथ अनिवार्य एफआईआर रजिस्ट्रेशन की नीति लागू की गई है। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार विश्वविद्यालय के आधारभूत ढांचे को मजबूत बनाने तथा शैक्षणिक उन्नयन के लिए पूरा सहयोग करेगी। विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ. आलोक त्रिपाठी ने कहा कि संयुक्त राष्ट्र से संबंधित विषयों के अनुसंधान तथा इस विषय में छात्रों, पेशेवरों और पुलिस अधिकारियों के शिक्षण-प्रशिक्षण के लिए विश्वविद्यालय में आज से ‘सेंटर ऑफ एक्सीलेंस ऑन यूएन स्टडीज‘ की स्थापना की जा रही है। राज्यपाल ने इस अवसर पर ‘संयुक्त राष्ट्रः 1945 से 2020 एक सिंहावलोकन‘ पुस्तक और सेंटर ऑफ एक्सीलेंस ऑन यूएन स्टडीज के न्यूज लेटर का विमोचन किया। हिन्दुस्थान समाचार/संदीप/ ईश्वर-hindusthansamachar.in