पिछड़ी जातियों के साथ हो रहा अन्याय : ओवीसी फ्रंट
पिछड़ी जातियों के साथ हो रहा अन्याय : ओवीसी फ्रंट

पिछड़ी जातियों के साथ हो रहा अन्याय : ओवीसी फ्रंट

पिछड़ी जातियों के साथ हो रहा अन्याय : ओबीसी फ्रंट गुना 06 अगस्त (हि.स.)। कांग्रेस के शासन के दौरान मप्र में ओबीसी वर्ग के लिए शासकीय नौकरियों में 14 प्रतिशत आरक्षण के स्थान पर 27 प्रतिशत आरक्षण की घोषणा की गई थी। यही नहीं शासन स्तर पर अध्यादेश के माध्यम से आरक्षण लागू किया गया था। इसके बाद भी पिछड़ी जातियों के साथ अन्याय हो रहा है। यह बात ओबीसी फ्रंट ने गुरुवार को मुख्यमंत्री के नाम कलेक्टर को ज्ञापन सौंपकर कही। ओबीसी फ्रंट द्वारा सौंपे गए ज्ञापन में कहा गया है कि सामान्य वर्ग के लोगों द्वारा आरक्षण के खिलाफ न्यायालय में याचिकाएं दायर की गई हैं। पूर्ववर्ती सरकार के लचीले रवैए के कारण सरकार ने 8 माह तक कोर्ट के समक्ष जवाब पेश नहीं किया गया। यही नहीं कोर्ट से मिले स्टे को समाप्त करने में भी कोई रुचि नहीं दिखाई। वर्तमान मेें भाजपा की सरकार मप्र में काबिज हो चुकी है। 18 अगस्त को उच्च न्यायालय जबलपुर द्वारा ओबीसी आरक्षण पर सुनवाई की जाना है। इस दौरान यदि शासन की ओर से ओबीसी वर्ग के हित में ईमानदारी से पैरवी की जाती है तो ओबीसी को लाभ मिल सकता है। संविधान ने ओबीसी को 27 प्रतिशत का अधिकार दिया है। वर्तमान में ओबीसी समाज की मप्र में 54 प्रतिशत से अधिक आबादी है। इस हिसाब से 27 प्रतिशत आरक्षण की आवश्यकता है। ज्ञापन सौंपने के दौरान ओबीसी फ्रंट के प्रदेश सचिव रणवीर सिंह कुशवाह, जिलाध्यक्ष नन्नूलाल प्रजापति, मुन्नालाल यादव जिला उपाध्यक्ष, आरसी झा जिला सचिव, प्रकाश सिंह धाकड़ प्रांतीय उपाध्यक्ष, जेएस किरार, युवा अध्यक्ष, नंदराम कुशवाह जिला संगठनमंत्री, हरिओम कुशवाह जिला कोषाध्यक्ष मौजूद रहे। हिन्दुस्थान समाचार / अभिषेक/केशव-hindusthansamachar.in

Related Stories

No stories found.
Raftaar | रफ्तार
raftaar.in