उमा भारती ने शिवराज मंत्रिमंडल में जातीय संतुलन नहीं बनाने को लेकर जताई आपत्ति
उमा भारती ने शिवराज मंत्रिमंडल में जातीय संतुलन नहीं बनाने को लेकर जताई आपत्ति

उमा भारती ने शिवराज मंत्रिमंडल में जातीय संतुलन नहीं बनाने को लेकर जताई आपत्ति

भोपाल, 02 जुलाई (हि.स.)। पूर्व केन्द्रीय मंत्री और भाजपा की दिग्गज नेत्री उमा भारती को मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान का मंत्रिमंडल विस्तार रास नहीं आया। बताया गया है कि इसमें जातीय संतुलन का ध्यान नहीं रखा गया, इसलिए उन्होंने पार्टी के वरिष्ठ नेताओं को संदेश भेज कर राज्य मंत्रिमंडल के विस्तार में ‘सैद्धांतिक मुद्दों’ पर आपत्ति जताई है। उन्होंने मंत्रिमंडल में जातीय संतुलन बनाने की मांग की है। सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक, मंत्रिमंडल विस्तार से पहले ही उन्होंने मंत्रियों के नामों को लेकर केन्द्रीय नेतृत्व को एक संदेश भेजा, जिसमें उन्होंने कहा है कि "अभी मुझे मध्य प्रदेश के मंत्रिमंडल की जो जानकारियां मिल रहीं हैं, जिनके अनुसार प्रस्तावित मंत्रिमंडल में जातीय समीकरण बिगड़ा हुआ है, जिसका मुझे दुख है। ......मंत्रिमंडल के गठन में मेरे सुझावों की पूर्णत: अनदेखी करना उन सबका अपमान है, जिनसे मैं जुड़ी हुई हूं, इसलिये जैसे कि मैंने पार्टी के वरिष्ठ नेताओं से बात की है, उसके अनुसार सूची में संशोधन किया जाए।" हालांकि, उनके इस संदेश की पुष्टि नहीं हो पाई है, लेकिन सूत्रों से जानकारी मिली है कि वे मंत्रिमंडल में जातीय संतुलन नहीं बनाने को लेकर नाराज हैं। बता दें कि उमा भारती इन दिनों लखनऊ में हैं। वे वहां अयोध्या रामजन्मभूमि और बाबरी मस्जिद विध्वंस मामले में सीबीआई की अदालत में पेश होने के लिए गई हैं। बुधवार सुबह सीबीआई विशेष अदालत में उनके बयान होने थे, लेकिन अदालत में एक व्यक्ति को कोरोना पॉजिटिव पाए जाने के कारण कोर्ट सैनिटाइज किया गया है, इसलिए उनके बयान नहीं हो सके। अब अदालत उनके बयानों के लिए अगली तारीख देंगी, तब तक वे लखनऊ में ही रहेंगी। हिन्दुस्थान समाचार / मुकेश तोमर-hindusthansamachar.in

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