अन्नदाताओं की पीड़ा को नजरअंदाज कर रही तानाशाही मोदी सरकार: कालीचरण मुंडा
खूंटी, 14 जनवरी(हि .स.)। काले कृषि कानूनों के खिलाफ संघर्षरत अन्नदाताओं की पीड़ा को नजरअंदाज कर रही तानाशाही मोदी सरकार के अड़ियल रुख तथा पेट्रोल और डीजल में उत्पाद शुल्क बढ़ाकर इनकी कीमतों में अप्रत्याशित वृद्धि करने के विरोध में प्रदेश कांग्रेस द्वारा 15 जनवरी शुक्रवार को राजभवन के समक्ष आहूत प्रदर्शन व घेराव कार्यक्रम में खूंटी जिले से सैकड़ों किसान व कांग्रेस कार्यकर्ता शामिल होंगे। ये बातें पूर्व विधायक वरिष्ठ कांग्रेस नेता कालीचरण मुंडा ने कहीं। मुंडा गुरुवार को जिला कांग्रेस कार्यालय में पत्रकार सम्मेलन को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा कि देश के 62 करोड़ किसान तीन कृषि विरोधी काले कानूनों के खिलाफ दो माह से संघर्षरत हैं। उत्तर भारत में हाड़ कंपाने वाली शीत लहरीए बेमौसम बारिश और ओलावृष्टि के बावजूद हजारों किसान दिल्ली की सीमा पर 40 दिनों से अपने जीवन और आजीविका के लिए डटे हैं, पर घमंडी एवं तानाशाही भाजपा सरकार अन्नदाताओं की इस पीड़ा से बेखबर अपने में मस्त है। जिलाध्यक्ष रामकृष्ण चौधरी ने कहा कि पिछले छह वर्षों में मोदी सरकार ने पेट्रोल और डीजल के उत्पाद शुल्क में अप्रत्याशित वृद्धि कर दी है, जिससे पेट्रोल और डीजल की कीमतें आज पिछले 73 वर्षों में सबसे अधिक हो गई हैं। उन्होंने कहा कि मोदी सरकार ने अकेले पेट्रोल और डीजल में कई सौ प्रतिशत उत्पाद शुल्क बढ़ाकर अतिरिक्त 19 लाख करोड़ रुपए एकत्र कर लिये हैं। मोदी सरकार की इस जनविरोधी कार्रवाई से किसानों के साथ साथ आम लोगों पर भी प्रतिकूल प्रभाव पड़ रहा है। इन्हीं सब मुद्दों को लेकर प्रदेश कांग्रेस कमेटी द्वारा 15 जनवरी शुक्रवार को राजभवन का घेराव व प्रदर्शन करने का कार्यक्रम निर्धारित किया गया है। हिन्दुस्थान समाचार/अनिल-hindusthansamachar.in