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'कंगाल' पाकिस्तान: इमरान खान ने फिर लिया 416 हजार करोड़ का कर्ज

इस्लामाबाद, 22 जनवरी (हि.स.)। गंभीर आर्थिक संकट के चलते दिवालिया होने की कगार पर पहुंच चुके पाकिस्तान ने अर्थव्यवस्था को चलाने के लिए एक बार फिर से 1.2 बिलियन डॉलर (87,56,58,00,000 रुपये) का नया कर्ज लिया है। कर्ज की इस नई राशि के साथ चालू वित्त वर्ष की पहली छमाही में पाकिस्तान अब तक 5.7 अरब डॉलर (4,16,01,73,50,000 रुपये) की नई उधारी ले चुका है। जबकि प्रधानमंत्री इमरान खान ढाई साल सरकार चलाने के बाद भी देश के खस्ता आर्थिक हालात के लिए पिछली सरकारों को जिम्मेदार बता रहे हैं। पाकिस्तान में हालात यहां तक पहुंच गए हैं कि सरकारी कर्मचारियों को तनख्वाह देने के लिए भी इमरान खान सरकार को जोड़तोड़ करना पड़ रहा है। पाकिस्तान का सबसे बड़ा 'दाता' सऊदी अरब और यूएई अपने कई बिलियन डॉलर के कर्ज को वापस मांग रहे हैं। वहीं, पाकिस्तान का सदाबहार दोस्त चीन भी अब पाकिस्तान को कर्ज देने में आनाकानी कर रहा है। महंगे ब्याज पर कर्ज पाकिस्तान के आर्थिक मामलों के मंत्रालय ने बयान जारी कर कहा कि वित्त वर्ष 2020-21 के जुलाई-दिसंबर के दौरान इमरान खान सरकार को कई वित्तपोषण स्रोतों से बाहरी कर्जों के रूप में 5.7 बिलियन डॉलर की राशि मिली है। दिसंबर में पाकिस्तान सरकार ने विदेशों से 1.2 बिलियन डॉलर प्राप्त किए, जिसमें वाणिज्यिक बैंकों से महंगे ब्याज पर ली गई 434 मिलियन डॉलर की राशि भी शामिल है। पिछली सरकारों पर ठीकरा फोड़ रहे इमरान खान इमरान खान सरकार की लचर आर्थिक सुधारों के चलते साल 2020 के अंत तक कुल कर्ज 11.5 फीसदी सालाना की दर से बढ़कर 35.8 ट्रिलियन रुपये तक पहुंच गया है। जिसके बाद खुद की गलतियों के पिछली सरकारों पर डालते हुए पाकिस्तानी वित्त मंत्रालय ने कहा कि पिछली सरकार की गलत आर्थिक नीतियों के कारण देश को अत्याधिक विनिमय दर और अत्यधिक उधारी का सामना करना पड़ रहा है। कर्ज मिलने में हो रही हैं मुश्किलें जी-20 देशों से कर्ज राहत के तहत, पाकिस्तान अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष और विश्व बैंक के प्रारूप के मुताबिक पूर्व की मंजूरी के अलावा, ऊंची दरों पर वाणिज्यिक कर्ज नहीं ले सकता। इस कारण चीन ही नहीं, पाकिस्तान के कई पसंदीदा देश भी निवेश करने या कर्ज देने से घबरा रहे हैं। हालात तो यहां तक आ गई है कि चीन भी कर्ज के बदले अतिरिक्त गारंटी मांग रहा है। हिन्दुस्थान समाचार/अजीत-hindusthansamachar.in

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