राजहंसों को भायी बूंदी की आबोहवा
राजहंसों को भायी बूंदी की आबोहवा

राजहंसों को भायी बूंदी की आबोहवा

- जिले के बरधा बांध के वेटलेंड में जलक्रीड़ा करते दिख रहे विभिन्न प्रजातियों के पक्षी बूंदी, 19 जून (हि.स.)। प्रदेश में गत वर्ष मानसून की भरपूर मेहरबानी का असर यहां पहुंचने वाले परिन्दों पर भी देखने को मिल रहा है। आम तौर पर गर्मियों में सूखा रहने वाला हाड़ौती का गोवा के रूप में पहचान बनाने वाला बूंदी जिले का बरधा बांध इन दिनों कई प्रजाति के पक्षियों से आबाद है। वर्तमान में यहां ग्रेटर फ्लेमिंगो व सारस पक्षियों के अलावा बड़ी संख्या में जांघिल पक्षियों ने डेरा डाल रखा है। गुजरात के कच्छ के रण करीब तीन दर्जन से अधिक राजहंस पक्षियों की जलक्रीड़ा आम लोगों के लिए आकर्षण का केंद्र बनी हुई है। पूर्व मानद वन्य जीव प्रतिपालक एवं पक्षी प्रेमी पृथ्वी सिंह राजावत के अनुसार राजहंस या ग्रेटर फ्लेमिंगो पक्षी सर्दियों में यहां आते हैं और अप्रैल मई तक वापस लौट जाते है। लेकिन गत वर्ष हुई अच्छी बरसात के कारण जिले के अधिकांश जलाशयों में अब तक पानी की पर्याप्त मौजूदगी है। इसी चलते इस साल जिले के जलाशयों पर इन पक्षियों की उपस्थिति बनी हुई है। बूंदी व कोटा के बीच स्थित अल्फानगर गांव से सटे बरधा बांध के वेटलैंड पर इन पक्षियों को उड़ान भरते व पानी में जलक्रीड़ा करते आसानी से देखा जा सकता है। हिन्दुस्थान समाचार/रवि कसेरा/ ईश्वर-hindusthansamachar.in

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