बेतिया मे कोरोना संक्रमित की मौत पर हंगामा
बेतिया, 09 मई (हिस)। मझौलिया के श्यामपुर बैठनिया निवासी एम्बुलेंस चालक भरत महतो (50) की मौत जीएमसीएच परिसर में चिकित्सा के अभाव में एम्बुलेंस में ही हो गयी। घटना रविवार की सुबह 10 बजे की है। मौत से आक्रोशित परिजनों व एम्बुलेंस कर्मियों ने जीएमसीएच के मुख्य दरवाजे पर पाइप रखकर विरोध शुरू कर दिया। उनका कहना था कि मरीज को बेड नहीं मिला। चिकित्सक देखने नहीं आए। जिससे उनकी मौत हो गयी। नगर पुलिस ने मौके पर पहुंच आक्रोशितों को शांत करा शव को कोरोना प्रोटोकॉल के अनुसार पैक करवाकर परिजनों के हवाले कर दिया। अस्पताल अधीक्षक डॉ. प्रमोद तिवारी ने कहा कि भरत महतो को काफी गंभीर स्थिति में लाया गया था। इमरजेंसी में तैनात चिकित्सक उन्हें एम्बुलेंस में देखने जा रहे थे। तब तक उनकी मौत हो गयी। बेड नहीं मिलने की बात गलत व निराधार है। अस्पताल सूत्रों के अनुसार भरत महतो को मझौलिया पीएचसी से रेफर किया गया था। उन्हें सांस लेने मे परेशानी थी और कोरोना संक्रमित थे। जैसे ही एम्बुलेंस उन्हें लेकर जीएमसीएच पहुंची तो एम्बुलेंस कर्मी उन्हें भर्ती कराने के लिए इमरजेंसी में गए। मौजूद चिकित्सक उन्हें देखने के लिए निकले। लेकिन उससे पहले ही उनकी मौत हो गयी थी। उसके बाद परिजन व अन्य हंगामा करने लगे। उनलोगों का आरोप था कि मरीज को बेड नहीं मिला। उसे भर्ती नहीं किया गया। एम्बुलेंस में भरत महतो के साथ काम करने वाले आपातकालीन टेक्निशियन रवीन्द्र कुमार ने बताया कि वे लोग कॉल सेंटर से फोन आने पर कोरोना संक्रमित मरीजों को लेने जाते थे। एक मई तक भरत महतो ने ड्यूटी की थी। पांच दिन पहले उनकी तबियत खराब हुई। सर्दी,खासी था। शनिवार की संध्या सांस लेने में परेशानी होने पर परिजन उन्हें लेकर मझौलिया पीएचसी पहुंचे। वहां रातभर इंतजार करने के बाद सुबह में उनकी स्थिति और खराब होने लगी। वहां से रविवार की सुबह उन्हें रेफर कर दिया गया। सुबह में वे लोग जीएमसीएच पहुंचे। पूर्जा कटाकर चिकित्सक के पास गए तब तक उनकी मौत हो गयी। हिन्दुस्थान समाचार / अमानुल हक/चंदा