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युवाओं से नौकरी दिलाने के नाम पर करोड़ों की ठगी, पांच गिरफ्तार

नई दिल्ली, 26 मार्च (हि.स.)। राजधानी दिल्ली में नौकरी के नाम पर युवाओं से ठगी के मामले में साइबर सेल ने एक गैंग का पर्दाफाश करते हुए पांच लोगों को गिरफ्तार किया है। गैंग का मुखिया ह्यूमन रिसोर्स में पीएचडी धारक है। वहीं अन्य दो आरोपित इंजीनियर हैं। अब तक मिली जानकारी के अनुसार, यह गैंग 500 से ज्यादा लोगों के साथ करीब 7.5 करोड़ रुपए की ठगी को अंजाम दे चुका है। आरोपितों की पहचान मनोज, आशीष रंजन, अभिषेक कुमार, सोनू रावत और पिंटू अली के रूप में हुई है। आरोपितों के पास से सात कंप्यूटर, लैपटॉप और 14 मोबाइल फोन बरामद किए गए। साइबर सेल के डीसीपी अन्येश रॉय ने शुक्रवार को जानकारी देते हुए बताया कि उत्तम नगर के रहने वाले एक व्यक्ति से नौकरी के नाम पर ठगी की शिकायत मिलने के बाद यह कार्रवाई की गई। शिकायत में बताया गया था कि उसको कई मल्टीनेशनल कंपनियों में भर्ती करवाने के नाम पर कुछ लोगों ने 20 लाख रुपए की ठगी कर ली। पीड़ित ने बताया कि उसने यह रकम विभिन्न बैंक खातों में जमा कराई। वहीं आरोपितों ने लोगों को फंसाने के लिए विभिन्न फर्जी वेबसाइट और ईमेल आईडी बना रखी थी। कॉल सेंटर से पकड़े गए पांच आरोपित साइबर सेल ने शिकायत के बाद टेक्निकल सर्विलांस और बैंक खातों में जमा की गई रकम के आधार पर जांच की। जांच के दौरान टीम ने पाया कि आरोपित गुरुग्राम में एक फर्जी कॉल सेंटर चला रहे हैं। जिसके बाद पुलिस ने छापा मारकर पांच आरोपितों को गिरफ्तार किय। कारोबार में लगा घाटा बन गए जालसाज पुलिस के अनुसार, मुख्य आरोपित मनोज कॉमर्स ग्रेजुएट है जिसने बाद में पुणे से एमबीए कर ह्यूमन रिसोर्स में पीएचडी भी कर रखी है। इसके अलावा आरोपित आशीष और अभिषेक इलेक्ट्रिकल और इलेक्ट्रॉनिक्स इंजीनियर हैं। गैंग के मुखिया मनोज ने कारोबार में घाटा लगने के बाद कॉल सेंटर खोला जहां अपने कुछ साथियों की मदद से ठगी की वारदात को अंजाम देता दिया। हिन्दुस्थान समाचार/अश्वनी

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